कोरोनावायरस के खतरे को देखते हुए ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स (वाहन विनिर्माताओं) को वेन्टीलेटर्स तैयार करने को कहा गया. स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, भारत इलेक्ट्रॉनिक लिमिटेड (BEL) को अगले दो महीनों में लोकल मैन्युफैक्चरर्स (स्थानीय विनिर्माताओं) के साथ मिलकर 30 हजार वेंटीलेटर बनाने के लिए कहा गया है. मौजूदा समय में देश के अलग-अलग अस्पतालों में 14 हजार से ज्यादा वेन्टीलेटर्स कोरोनावायरस के मरीजों के लिए उपलब्ध हैं. नोएडा के Agva healthcare को एक महीने में 10 हजार वेंटिलेटर बनाने हैं. अप्रैल के दुसरे हफ्ते से इनके वेन्टीलेटर्स की सप्लाई शुरू हो जाएगी.
जानकारी के मुताबिक, रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) अगले हफ्ते से हर दिन 20 हजार N99 मास्क बनाएगा. अभी देशभर के अस्पतालों में 11 लाख 95 हजार N95 मॉस्क स्टॉक में है. दो घरेलू मैन्युफैक्चरर्स हर दिन 50 हजार N95 मास्क बना रहे हैं अगले हफ्ते तक ये हर दिन एक लाख बनाये जाएंगे. रेड क्रॉस ने आज 10 हजार पीपीई यानी पर्सनल प्रोटेक्टिव इक्विपमेंट डोनेट किया है. 20 लाख पीपीई के लिए साउथ कोरिया की एक फर्म को ऑर्डर दिया गया है. ये अगले दस दिन में सप्लाई शुरू करेगी और अगले हफ्ते ये फर्म हर दिन एक लाख पीपीई बनाएगी.
वहीं, 10 लाख PPE KIT के लिए सिंगापुर की एक फर्म को ऑर्डर दिया गया है. अभी फ़िलहाल देशभर के अलग अलग अस्पतालों में 3 लाख 34 हजार PPE हैं. 4 अप्रैल तक 3 लाख और PPE उपलब्ध होंगे. 12 अलग-अलग घरेलू कम्पनियों को 26 लाख PPE का आर्डर दिया जा चुका है. फिलहाल वो हर दिन 6 से 7 हजार बना रहे हैं जो 15 अप्रैल तक हर दिन 15 हजार हो जाएगा.
स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, देश में अब तक कोरोनावायरस के एक हजार से ज्यादा मामले सामने आ चुके हैं. अब तक कोरोना संक्रमण के 1071 मामले सामने आए हैं. इस बीमारी से अब तक 29 लोगों की मौत हो चुकी है. हालांकि, थोड़ी राहत वाली बात यह है कि 100 कोरोना संक्रमित मरीज अब तक ठीक भी हो चुके हैं.
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