
प्रतीकात्मक फोटो.
Quick Reads
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
ऑक्सीजन की कमी के चलते बड़ी संख्या में बच्चों की मौत हुई थी
आरोपी को जमानत के लिए शर्तें निचली अदालत तय करेगी
आरोपी मनीष भंडारी सात महीने से जेल में
बीआरडी मेडिकल कॉलेज में 2017 में ऑक्सीजन की कमी के चलते बड़ी संख्या में बच्चों की मौत हो गई थी. प्रधान न्यायाधीश न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति एएम खानविलकर व न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ ने मनीष भंडारी को जमानत दे दी.
उत्तर प्रदेश सरकार की तरफ से पेश वकील एश्वर्य भाटी ने जमानत याचिका का विरोध किया. भंडारी पर भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत आपराधिक साजिश व आपराधिक विश्वासघात का मामला दर्ज किया गया था.
राज्य द्वारा संचालित बाबा राघवदास मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में कथित तौर पर तरल ऑक्सीजन की कमी के कारण 10 व 11 अगस्त, 2017 को करीब 60 बच्चों की मौत हो गई थी. आरोप लगाया गया था कि विक्रेता को बिलों का भुगतान न किए जाने पर ऑक्सीजन की आपूर्ति ना होने के कारण ये मृत्यु हुई थी.
VIDEO : अस्पतालों में कब तक मरते रहेंगे नवजात
आरोपी को जमानत के लिए शर्तें निचली अदालत तय करेगी. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने पिछले महीने भंडारी की जमानत याचिका खारिज कर दी थी और कहा था कि हिरासत में लेकर पूछताछ की अभी भी आवश्यकता हो सकती है.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं