BJP नेता बोले- 2 बच्चों वाले कानून के बिना नहीं आएगा देश में रामराज्य, भविष्य में गृहयुद्ध की आशंका!

भाजपा नेताओं ने मोदी सरकार से जनसंख्या नियंत्रण कानून बनाने की मांग की है. कहा है कि दो बच्चे वाले परिवारों को ही सरकारी योजनाओं का लाभ मिले. नहीं तो देश के हालात बिगड़ेंगे.

BJP नेता बोले- 2 बच्चों वाले कानून के बिना नहीं आएगा देश में रामराज्य, भविष्य में गृहयुद्ध की आशंका!

गाजियाबाद के रामलीला मैदान में जनसंख्या नियंत्रण रैली को संबोधित करते केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह.

नई दिल्ली:

बीजेपी के कुछ नेताओं की ओर से इन दिनों जनसंख्या नियंत्रण को लेकर मुहिम चलाई जा रही है. सोशल मीडिया के बाद अब रैलियों के जरिए यह मुहिम धरातल पर चलाई जा रही है. मांग की जा रही कि अधिकतम दो बच्चों वाला कानून बनाया जाए. जो इसका पालन न करे उससे वोट देने, चुनाव लड़ने सहित सभी अधिकार और सरकारी योजनाओं का लाभ छीन लिया जाए. सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता और बीजेपी नेता अश्विनी उपाध्याय की ओर से संचालित इस मुहिम से केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह भी जुड़े हैं. इसी सिलसिले में रविवार को गाजियाबाद के रामलीला मैदान में आयोजित जनसंख्या नियंत्रण रैली में केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने जहां जनसंख्या नियंत्रण न होने की स्थिति में  देश में भविष्य में गृहयुद्ध की आशंका जताई. वहीं सरकार के सामने भी अविलंब कानून बनाने के लिए दबाव डालने की भी बात की. जबकि बीजेपी नेता अश्विनी उपाध्याय ने कहा कि हम दो-हमारे दो का कानून अनिवार्य किया जाए, नहीं तो देश में रामराज्य लाने की सपना अधूरा रहेगा. 

 सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता अश्विनी उपाध्याय ने चीन की तर्ज पर कठोर और प्रभावी जनसंख्या नियंत्रण कानून बनाने की मांग की है. गाजियाबाद के रामलीला मैदान में जनसंख्या नियंत्रण रैली को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि हजारों साल पहले भगवान राम तथा उनके भाई लक्षमण, भरत और शत्रुघन ने स्वयं हम दो-हमारे दो का पालन किया था जबकि उस समय जनसंख्या की समस्या इतनी खतरनाक नहीं थी और वर्तमान समय में तो जनसंख्या विस्फोट बम विस्फोट से भी अधिक खतरनाक है. उपाध्याय इसके पहले जनसंख्या नियंत्रण के लिए सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका भी दाखिल कर चुके हैं. पश्चिम उत्तर प्रदेश से आये करीब पांच हजार लोगों को संबोधित करते हुए उपाध्याय ने कहा कि हमारे देश की जनसंख्या सवा सौ करोड़ नहीं बल्कि डेढ़ सौ करोड़ से ज्यादा है. और हम चीन से बहुत आगे निकल चुके हैं.

 


उन्होंने कहा कि देश में 122 करोड़ लोगों के पास आधार है, लगभग 20 प्रतिशत अर्थात 25करोड़ लोग बिना आधार के हैं और तथा लगभग 5 करोड़ बंगलादेशी और रोहिंग्या घुसपैठिये अवैध रूप से रहते हैं. भारत की कृषि योग्य भूमि दुनिया की मात्र 2 प्रतिशथ है,पीने योग्य पानी मात्र 4 प्रतिशत है और जनसंख्या दुनिया की20 फीसद है.  उन्होंने कहा कि यदि चीन से तुलना करें तो भारत का क्षेत्रफल चीन का लगभग एक तिहाई है और जनसंख्या वृद्धि की दर चीन की तीन गुना है. चीन में प्रति मिनट 11 बच्चे पैदा होते हैं और भारत में प्रति मिनट 33 बच्चे पैदा होते हैं.

उपाध्याय ने कहा कि अंतराष्ट्रीय रैंकिंग में भारत की दयनीय स्थिति का मुख्य कारण भी जनसंख्या विस्फोट है और उपरोक्त तथ्यों को ध्यान में रखते हुए ही अटल सरकार द्वारा बनाये गए संविधान समीक्षा आयोग (जस्टिस वेंकटचलैया आयोग) ने 2002 में संविधान में आर्टिकल 47A जोड़ने और एक प्रभावी जनसंख्या नियंत्रण कानून बनाने का सुझाव दिया था जिसे आजतक लागू नहीं किया गया.  उपाध्याय ने कहा कि अबतक 123 बार संविधान संशोधन हो चुका है, 2 बार सुप्रीम कोर्ट का फैसला भी बदला जा चुका है, सैकड़ों नए कानून बनाये गए लेकिन देश के लिए सबसे ज्यादा जरुरी जनसंख्या नियंत्रण कानून आज तक नहीं बनाया गया, जबकि इससे देश की 50 प्रतिशत से अधिक समस्याओं का समाधान हो जाएगा. इस मौके पर जनसंख्या समाधान फाउंडेशन    के अध्यक्ष अनिल चौधरी, राष्ट्रीय संयोजक ममता सहगल,स्वामी यतींद्र नाथ गिरी महाराज , राज्य मंत्री अतुल गर्ग ,  महापौर आशा शर्मा, बलदेवराज शर्मा , विधायक सुनील शर्मा , नन्द किशोर गुर्जर , चेयरमैन  रंजीता धामा , दिनेश गोयल ,महेश आहूजा , पू्र्व विधायक , अश्वनी उपाध्याय , प्रशांत चौधरी , पिंकी चौधरी   आदि मौजूद रहे.डा. हरपाल सिंह, अमरदत्त शर्मा, प्रदीप चौधरी,सर्वेश शर्मा , अतुल कुमार जैन , डॉक्टर अलका सैनी आदि मौजूद रहे.
 

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