कोरोना वायरस के कहर से चीन में अब तक 900 से अधिक लोगों की मौत हो गई है, वहीं भारत में भी इस बीमारी से बचाव के लिए युद्ध स्तर पर कोशिशें जारी हैं. चीन, जापान, सिंगापुर से आने वाले यात्रियों की जांच के लिए अलग से वार्ड बनाए गए हैं. इस बीच जापान के योकोहामा बंदरगाह पर रोक कर रखे गए लग्जरी क्रूज लाइनर के यात्री और चालक दल के सदस्य पांच फरवरी से परेशान हैं. इस जहाज में कई लोगों के कोरोना वायरस से पीड़ित होने की पुष्टि हुई है. आज ही डायमंड एक्सप्रेस नाम के इस क्रूज लाइनर के कैप्टेन ने ऐलान किया कि 66 और लोगों के कोरोना वायरस से पीड़ित होने की पुष्टि हुई है. एक दिन पहले तक जहाज के 71 लोग कोरोना वायरस से पीड़ित थे. नई जानकारी के बाद जहाज़ में अब 137 लोग कोरोना वायरस की चपेट में आ गए हैं.
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चालक दल के एक भारतीय सदस्य के मुताबिक जहाज में 160 भारतीय हैं. बिनय कुमार सरकार नाम का ये शेफ़ इससे पहले सोशल मीडिया पर भारत सरकार से मदद की अपील कर चुका है. इस व्यक्ति ने NDTV को बताया कि कोरोना वायरस की वजह से जहाज में लोग काफी परेशान और बेचैन हैं. बिनय सरकार ने कहा कि 'मोदी जी कुछ भी करके हमलोगों को घर तक पहुंचाइये.'
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इस जहाज में 3600 लोग थे. ये जहाज बीस जनवरी को योकोहामा से चला था. 25 जनवरी को हॉन्गकॉन्ग में एक यात्री इस जहाज से उतरा. दो फरवरी को जहाज़ को जानकारी मिली की हॉन्ग कॉन्ग का ये यात्री कोरोना वायरस से पीड़ित था.
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इसके बाद जहाज़ को तुरंद योकोहोमा वापस भेजा गया और पांच फरवरी को ये जहाज बंदरगाह पर अलग खड़ा कर दिया गया है. जापान का स्वास्थ्य मंत्रालय जहाज पर मौजूद सभी लोगों की निगरानी कर रहा है. सभी को बचाव के लिए मास्क और अन्य उपकरण दिए गए हैं. इस बीच ये कहा गया है कि जब तक जहाज अलग थलग है तब तक भारत सरकार इसमें दखल नहीं दे सकती. अभी तक की जानकारी के मुताबिक ये जहाज 19 फरवरी तक बंदरगाह पर अलग खड़ा रहेगा.
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WHO ने दी चेतावनी
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने कोरोना वायरस का संक्रमण चीन से बाहर फैलने को लेकर अन्य देशों को आगाह किया और उनसे अपील की है कि वे इस घातक विषाणु के उनके देश में पहुंचने की आशंका के मद्देनजर उससे निपटने के लिए तैयार रहें. WHO प्रमुख तेदरोस अदहानोम गेब्रेयसस ने कहा कि उन लोगों के भी इस विषाणु से संक्रमित होने के ‘चिंताजनक मामले' सामने आए हैं जो कभी चीन नहीं गए.
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