विज्ञापन
This Article is From Nov 05, 2020

आंध्र के स्कूलों में कोरोना की दस्तक, तीन दिन में 422 छात्र और शिक्षक कोरोना से संक्रमित

आंध्र सरकार का कहना है कि गरीब विद्यार्थी स्कूल बंद होने से सर्वाधिक प्रभावित हुए हैं. ऑनलाइन कक्षाएं उनकी पहुंच से बाहर हैं. इसका असर आदिवासी और ग्रामीण इलाकों की छात्राओं पर भी पड़ेगा

आंध्र के स्कूलों में कोरोना की दस्तक, तीन दिन में 422 छात्र और शिक्षक कोरोना से संक्रमित
आंध्र सरकार ने दो नवंबर से स्कूल खोलने की घोषणा की है.
अमरावती:

आंध्र प्रदेश (Andhra Pradesh) में बड़ी कक्षाओं के स्कूल खुलने का राज्य सरकार का फैसला उल्टा पड़ता दिख रहा है. आंध्र की जगन मोहन रेड्डी सरकार ने 9वीं और 10वीं कक्षा के लिए स्कूल दो नवंबर को खोले थे. उसके महज तीन दिन में ही 422 छात्र और शिक्षक कोरोना (Corona Virus) से संक्रमित पाए गए हैं. इनमें 262 छात्र और 160 शिक्षक शामिल हैं.

यह भी पढ़ें- दिल्ली में 24 घंटे में कोरोना के रिकॉर्ड 6842 नए मामले, लगातार दूसरे दिन छह हजार से ज्यादा केस

स्कूल शिक्षा आयुक्त वी चिन्ना वीरभद्रदू ने गुरुवार को कहा कि यह चिंता की बात की नहीं है. स्कूल आ रहे छात्रों की संख्या के मुकाबले संक्रमित छात्रों की संख्या चिंताजनक नहीं है. प्रत्येक शिक्षण संस्थान में कोविड-19 (Covid-19) सुरक्षा मानकों का पालन सुनिश्चित करने के लिए हरसंभव कदम उठाए जा रहे हैं.

यह भी पढ़ें- कोरोना संक्रमितों के घर के बाहर पोस्‍टर पर रोक लगाने की मांग वाली याचिका पर SC में सुनवाई टली

उन्होंने कहा कि एक दिन में करीब चार लाख छात्र स्कूल पहुंचे, इनमें संकमित छात्रों की संख्या 262 है, जो 0.1 प्रतिशत भी नहीं है. यह कहना सही नहीं होगा कि स्कूल जाने से छात्र संक्रमित हुए. सरकार ने यह सुनिश्चित किया है कि प्रत्येक कक्षा में केवल 15 या 16 छात्र ही मौजूद रहें. आंध्र प्रदेश में 9वीं और 10वीं कक्षा के लिए 9.75 लाख विद्यार्थी पंजीकृत हुए हैं. इनमें से 3.93 लाख विद्यार्थी स्कूल आए. कुल 1.11 लाख शिक्षकों में से 99,000 से अधिक शिक्षकों ने शैक्षिक संस्थानों में विद्यार्थियों को पढ़ाया. आंध्र में 1.11 लाख शिक्षकों में से करीब 160 शिक्षक कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं.

उन्होंने कहा कि गरीब विद्यार्थी स्कूल बंद होने से सर्वाधिक प्रभावित हुए हैं. क्योंकि ऑनलाइन कक्षाएं उनकी पहुंच से बाहर हैं. स्कूल बंद रहने का असर आदिवासी और ग्रामीण इलाकों की छात्राओं पर भी पड़ेगा. पढ़ाई रुकने के बाद उनके अभिभावक बच्चों का बाल विवाह भी कर सकते हैं.आंध्र प्रदेश में 9वीं, 10वीं और 12वीं कक्षाओं के लिए सभी सरकारी स्कूल और कॉलेज दो नवंबर से दोबारा खुल गए हैं. कक्षाओं में रोज आधे-आधे छात्रों को बुलाया जा रहा है.
 

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे: