तिब्बती आध्यात्मिक नेता दलाई लामा ने गुरुवार को चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग से खुले विचार और यथार्थवादी सोच रखने का आग्रह किया ताकि वह भारत से कुछ सीख पाएं। चिनफिंग तीन-दिवसीय यात्रा पर भारत आए हैं।
दलाई लामा ने यह भी कहा कि आज नहीं तो कल समझदारी और बातचीत से तिब्बत की समस्या का समाधान ढूंढ लिया जाएगा।
दलाई लामा ने कहा, दरअसल तिब्बत की समस्या भारत की भी समस्या है। आज नहीं तो कल समझदारी और बातचीत के माध्यम से तिब्बत की समस्या का समाधान ढूंढ लिया जाएगा। यह बेहद महत्वपूर्ण है।
नोबल पुरस्कार से सम्मानित दलाई लामा ने कहा, जब पूर्व चीनी राष्ट्रपति हू जिंताओ भारत आए थे, तब भी मैंने उनसे भारत से सीखने की बात कही थी। इस बार भी मेरी आशा और प्रतिक्रिया यही है कि शी चिनफिंग को खुले विचार और यर्थावादी सोच रखना चाहिए, ताकि भारत से कुछ सीख सकें।
दलाई लामा ने यह भी कहा कि चीन को शांति, तिब्बत के आर्थिक विकास और बौद्ध धर्म के संरक्षण के लिए काम करना चाहिए, क्योंकि चीन में 40 करोड़ आबादी बौद्ध धर्म मानती है।
इधर, दक्षिणी दिल्ली में तिब्बती शरणार्थियों ने धौलाकुआं इलाके और हैदराबाद हाउस के बाहर चिनफिंग के भारत दौरे के विरोध में प्रदर्शन किया।
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