नई दिल्ली: प्रशांत भूषण ने योगेंद्र यादव और उनके समर्थकों की गिरफ्तारी पर उठाए सवाल है। उन्होंने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि दिल्ली पुलिस ने शांतिपूर्वक प्रदर्शन कर रहे योगेंद्र यादव और उनके समर्थकों को हिरासत में लिया। यहां तक की दिल्ली पुलिस ने उन्हें योगेंद्र यादव से मिलने तक नहीं दिया और थाने के सभी गेटों पर अंदर से ताले तक लगा लिए। यह मौलिक एवं संवैधानिक अधिकारों का उल्लंघन है। हमें यह तक नहीं पता की पुलिस ने योगेंद्र के साथ उनके कितने समर्थकों को गिरफ्तार किया है।
दरअसल, जंतर-मंतर पर भूमि अधिग्रहण बिल के खिलाफ किसानों के साथ प्रदर्शन कर रहे स्वराज अभियान के सदस्य और आम आदमी पार्टी से बाहर किए गए योगेंद्र यादव और उनके करीब 90 साथियों को शांति भंग के आरोप में दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया है। तिमारपुर के एमएलए पंकज पुष्कर को भी उनके साथ गिरफ्तार किया गया है।
रात को योगेंद्र यादव और उनके साथियों को दिल्ली पुलिस ने जंतर-मंतर से हिरासत में लिया था। जिसके बाद योगेंद्र को रात पुलिस हिरासत में गुजारनी पड़ी। योगेंद्र ने आरोप लगाया है कि पुलिस ने हिरासत में उनके साथ अभद्रता और मार-पिटाई की।
सुबह संसद मार्ग थाने में योगेंद्र यादव ने जब मीडिया से बात करने की कोशिश की तो दिल्ली पुलिस ने उन्हें रोक दिया। तस्वीरों में दिल्ली पुलिस की धक्कामुक्की को साफ देखा भी जा सकता है।
योगेंद्र यादव का संगठन स्वराज अभियान भूमि अधिग्रहण बिल का विरोध कर रहा है। इसी के तहत ये लोग जंतर-मंतर पर प्रदर्शन कर रहे थे। रैली में शामिल लोग जब प्रधानमंत्री आवास की ओर जाने की कोशिश करने लगे तो पुलिस ने इन लोगों को हिरासत में ले लिया।
उधर, कभी योगेंद्र यादव के करीबी रहे और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट करके दिल्ली पुलिस की निंदा की है। उन्होंने कहा कि दिल्ली पुलिस ने योगेंद्र यादव जी के साथ जिस तरह का बर्ताव किया मैं उसकी कड़े शब्दों में निंदा करता हूं। वे शांतिपूर्वक प्रदर्शन कर रहे थे। यह उनका मौलिक अधिकार है।
उधर, 'आप' नेता संजय सिंह अपने कार्यकर्ताओं के साथ संसद मार्ग थाने पहुंचे, लेकिन योगेंद्र के स्वराज अभियान से जुड़े कार्यकर्ताओं ने उनसे समर्थन लेने से इनकार कर दिया।
दिल्ली पुलिस के मुताबिक, रैली की अनुमति सिर्फ सूरज ढलने तक थी। इसके बाद पुलिस ने जब उन्हें जाने के लिए कहा तो कार्यकर्ताओं ने हंगामा शुरू कर दिया। पुलिस के मुताबिक धारा 144 लागू होने के कारण लोगों को हिरासत में लिया गया है।