नई दिल्ली:
सरकार की ओर से रक्षामंत्री एके एंटनी ने मंगलवार को संसद को आश्वासन दिया कि पाकिस्तान की ओर से बार-बार किए जा रहे नियंत्रण रेखा के उल्लंघन को रोकने के लिए देश की सेना सभी आवश्यक कदम उठाने के लिए तैयार है।
पाकिस्तान द्वारा रात्रि 2.00 बजे जम्मू-कश्मीर के पुंछ सेक्टर में नियंत्रण रेखा के निकट घात लगाकर भारतीय सेना के पांच जवानों को मौत के घाट उतारे जाने की घटना की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि 2012 में एक जनवरी से 5 अगस्त की अवधि की तुलना में पाकिस्तान की ओर से इस वर्ष इसी अवधि में घुसपैठ के प्रयासों की संख्या दोगुनी हो गयी है।
उन्होंने बताया कि इस साल युद्धविराम संबंधी 57 उल्लंघन भी हुए हैं जो पिछले साल की इस अवधि के उल्लंघनों से 80 फीसदी अधिक हैं।
एंटनी ने बताया कि आज तड़के घात लगाकर किया गया यह हमला पाक सेना के वर्दीधारी व्यक्तियों सहित पूरी तरह से हथियारों से लैस लगभग 20 आतंकवादियों द्वारा किया गया था।
रक्षा मंत्री ने कहा, ‘हम इस अकारण घटना की कड़ी निंदा करते हैं। भारत सरकार ने पाकिस्तान सरकार के साथ राजनयिक माध्यमों के जरिए कड़ा विरोध दर्ज किया है। मैं सदन को आश्वस्त करता हूं कि हमारी सेना नियंत्रण रेखा की अनुल्लंघनीयता को बरकरार रखने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने को तैयार है।’
उन्होंने कहा कि सरकार उन शहीदों के परिवारों के प्रति शोक संवेदना व्यक्त करती है जिन्होंने अपने कर्तव्य की खातिर सर्वोच्च बलिदान दिया।
रक्षामंत्री के जवाब से असहमति जताते हुए भाजपा सदस्यों ने भारी हंगामा किया जिसके चलते सदन की बैठक कुछ ही देर बाद दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई।
इससे पूर्व, शून्यकाल के दौरान सपा के मुलायम सिंह यादव और भाजपा के यशवंत सिन्हा ने इस मुद्दे को उठाते हुए पाकिस्तान को उसी की भाषा में जवाब दिए जाने की जरूरत बताई थी।
गौरतलब है कि हमले में 21 बिहार यूनिट के एक सूबेदार और चार जवान शहीद हो गए। यह हमला रात्रि करीब 2.00 बजे भारतीय सीमा में नियंत्रण रेखा से 450 मीटर की दूरी पर हुआ।
पाकिस्तान द्वारा रात्रि 2.00 बजे जम्मू-कश्मीर के पुंछ सेक्टर में नियंत्रण रेखा के निकट घात लगाकर भारतीय सेना के पांच जवानों को मौत के घाट उतारे जाने की घटना की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि 2012 में एक जनवरी से 5 अगस्त की अवधि की तुलना में पाकिस्तान की ओर से इस वर्ष इसी अवधि में घुसपैठ के प्रयासों की संख्या दोगुनी हो गयी है।
उन्होंने बताया कि इस साल युद्धविराम संबंधी 57 उल्लंघन भी हुए हैं जो पिछले साल की इस अवधि के उल्लंघनों से 80 फीसदी अधिक हैं।
एंटनी ने बताया कि आज तड़के घात लगाकर किया गया यह हमला पाक सेना के वर्दीधारी व्यक्तियों सहित पूरी तरह से हथियारों से लैस लगभग 20 आतंकवादियों द्वारा किया गया था।
रक्षा मंत्री ने कहा, ‘हम इस अकारण घटना की कड़ी निंदा करते हैं। भारत सरकार ने पाकिस्तान सरकार के साथ राजनयिक माध्यमों के जरिए कड़ा विरोध दर्ज किया है। मैं सदन को आश्वस्त करता हूं कि हमारी सेना नियंत्रण रेखा की अनुल्लंघनीयता को बरकरार रखने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने को तैयार है।’
उन्होंने कहा कि सरकार उन शहीदों के परिवारों के प्रति शोक संवेदना व्यक्त करती है जिन्होंने अपने कर्तव्य की खातिर सर्वोच्च बलिदान दिया।
रक्षामंत्री के जवाब से असहमति जताते हुए भाजपा सदस्यों ने भारी हंगामा किया जिसके चलते सदन की बैठक कुछ ही देर बाद दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई।
इससे पूर्व, शून्यकाल के दौरान सपा के मुलायम सिंह यादव और भाजपा के यशवंत सिन्हा ने इस मुद्दे को उठाते हुए पाकिस्तान को उसी की भाषा में जवाब दिए जाने की जरूरत बताई थी।
गौरतलब है कि हमले में 21 बिहार यूनिट के एक सूबेदार और चार जवान शहीद हो गए। यह हमला रात्रि करीब 2.00 बजे भारतीय सीमा में नियंत्रण रेखा से 450 मीटर की दूरी पर हुआ।
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