भारतीय मुस्लिमों के अधिकारों के बारे में एक इंटरव्यू के दौरान की गई टिप्पणी के बाद पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा (Barack Obama) को तीखी प्रतिक्रिया का सामना करना पड़ रहा है. ओबामा द्वारा भारत में मुसलमानों के अधिकारों को लेकर दिए गए बयान पर अंतर्राष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता पर यूएस कमीशन (एससीआईआरएफ) के पूर्व कमिशनर जॉनी मूर (Johnnie Moore) ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा, "मुझे लगता है कि पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा को भारत की आलोचना करने से ज्यादा भारत की प्रशंसा करने में अपनी एनर्जी खर्च करनी चाहिए."
भारत की विविधता ही इसकी ताकत है- जॉनी मूर
इसके आगे जॉनी मूर ने कहा कि भारत विविधताओं का देश है. यह एक आदर्श देश नहीं है, ठीक वैसे ही जैसे अमेरिका एक आदर्श देश नहीं है, लेकिन इसकी विविधता ही इसकी ताकत है. यहां तक कि राष्ट्रपति ओबामा उस आलोचना में भी प्रधानमंत्री मोदी (PM Modi) की सराहना करने से खुद को नहीं रोक पाए . उनके साथ कुछ समय बिताने के बाद मैं निश्चित रूप से समझता हूं कि उन्होंने ऐसा क्यों किया है"
निर्मला सीतारमण ने ओबामा के बयान पर किया पलटवार
आपको बता दें कि केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala sitharaman) ने पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा द्वारा भारत में अल्पसंख्यकों के अधिकारों को लेकर दिए गए बयान की कड़ी आलोचना की. उन्होंने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा पर निशाना साधते हुए कहा कि जब वह शासन में थे तो अमेरिकी ने छह मुस्लिम बहुल देशों पर बमबारी की. इन सभी छह मुस्लिम-बहुल देशों पर 26,000 से अधिक बम गिराए गए .इस दैरान हजारों लोगों की मौत हुई. ऐसे में उनके आरोपों पर कोई कैसे भरोसा करेगा?
वित्तमंत्री ने आगे कहा कि हम अमेरिका के साथ अच्छे रिश्ते चाहते हैं. लेकिन वहां भी भारत में धार्मिक स्वतंत्रता को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं.
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