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This Article is From May 24, 2024

डीजीसीआई ने एंटी कैंसर दवा ओलापारिब को वापस लेने दिया आदेश, जानें क्या है ओलापारिब

डीजीसीआई (DGCI) ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के ड्रग रेगुलेटर से कहा है कि वो ओलापारिब को वापस ले लें.

डीजीसीआई ने एंटी कैंसर दवा ओलापारिब को वापस लेने दिया आदेश, जानें क्या है ओलापारिब
Olaparib: क्या है ओलापारिब.

ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (Drug Controller General of India) यानी डीजीसीआई (DGCI) ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के ड्रग रेगुलेटर से कहा है कि वो उन पेशेंट के ट्रीटमेंट के लिए एस्ट्राजेनेका (AstraZeneca) की एंटी कैंसर दवा ‘ओलापारिब' (Olaparib) को वापस ले लें, जिन्हें 3 या इससे अधिक बार कीमोथेरेपी दी जा चुकी है. आपको बता दें ओलापारिब एक कीमोथेरेपी दवा है. इसका उपयोग अंडाशय, स्तन, पैंक्रियाज और प्रोस्टेट के कुछ प्रकार के कैंसर के इलाज के लिए किया जाता है.

16 मई को लिखे एक पत्र में डॉ. राजीव सिंह रघुवंशी, डीसीजीआई ने राज्य दवा नियामकों को लिखा कि वे एस्ट्राजेनेका की ओलापारिब टैबलेट (100 मिलीग्राम और 150 मिलीग्राम) को बेचना बंद कर दें, जो कि लिनपर्जा के रूप में बेची जाती हैं. कुछ रोगियों पर इसका संभावित प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है. स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, इस दवा के कारण कुछ कैंसर रोगियों में जीवित रहने की दर कम हो जाती है. डीसीजीआई का कदम एस्ट्राजेनेका फार्मा इंडिया के नैदानिक ​​अध्ययनों के बाद आया है, जिसमें विशिष्ट मामलों में इसे वापस लेने का भी समर्थन किया गया है.

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दिल्ली एम्स, बीआर अंबेडकर इंस्टीट्यूट रोटरी कैंसर हॉस्पिटल के रेडिएशन ऑन्कोलॉजी विभाग के सहायक प्रोफेसर डॉ. अभिषेक शंकर ने आईएएनएस को बताया, ''हानिकारक जर्मलाइन बीआरसीए उत्परिवर्तित उन्नत ओवेरियन कैंसर वाले रोगियों में मोनोथेरेपी के रूप में ओलापारिब के उपयोग को वापस लेने का यह निर्णय सही है, जिनका इलाज तीन या अधिक बार कीमोथेरेपी किया गया है.''

ऑन्कोलॉजिस्ट ने नोट किया कि जो मरीज ओलापारिब ले रहे थे, उनमें ओलापारिब न लेने वाले मरीजों की तुलना में जीवित रहने की संभावना कम थी. ओलापरीब को पहली बार डीसीजीआई द्वारा 2018 में जीबीआरसीए म्यूटेशन (स्तन कैंसर) और उन्नत ओवेरियन कैंसर वाले रोगियों के लिए अप्रूव किया गया था, खासकर उन लोगों के लिए जो कई कीमोथेरेपी उपचार से गुजर चुके हैं.

सर गंगा राम अस्पताल के मेडिकल ऑन्कोलॉजी के अध्यक्ष डॉ. श्याम अग्रवाल ने आईएएनएस को बताया कि ओलापारिब ने बीआरसीए म्यूटेशन या एचआरडी पॉजिटिव के साथ उन्नत ओवेरियन कैंसर वाले रोगियों को मदद की है.''

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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