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मौसम के अनुसार हो आपकी डाइट, जानें जनवरी से दिसंबर तक क्या खाएं और क्या नहीं

जनवरी से लेकर आखिरी महीनों तक और सीजन के अनुसार क्या खाए और क्या ना खाए यहां विस्तार से जानें.

मौसम के अनुसार हो आपकी डाइट, जानें जनवरी से दिसंबर तक क्या खाएं और क्या नहीं
जानिए किस मौसम में कैसे होना चाहिए आपका खाना

Health According To Seasons: भारत में मौसम चार से पांच बार करवट बदलता है, जिसमें गर्मी, सर्दी, बसंत, पतझड़ और बारिश का महीना शामिल हैं. ऐसे में मौसम के अनुसार खुद को फिट रखना भी एक बड़ा चैलेंज होता है. भारत में लोग अकसर मौसम के बदलाव से ही बीमार पड़ते हैं. ऐसे में यह जानना बहुत जरूरी हो जाता है कि मौसम के अनुसार क्या खाना चाहिए और क्या नहीं. आइए इस आर्टिकल में जानते हैं, मौसम के अनुसार हमें क्या खाना चाहिए और क्या नहीं.

मौसम के अनुसार क्या खाएं और क्या नहीं (What to eat and what not to eat according to the seasons)
 

सर्दी का मौसम (जनवरी से फरवरी तक)

क्या खाएं : उत्तर भारत में जनवरी और फरवरी में कड़ाके की ठंड पड़ती हैं. ऐसे में लोग गर्म चीजें खाने की ओर दौड़ते हैं. बता दें, सर्दी में देसी घी खाने लाभदायक होता है. सर्दी में गर्म तासीर वाला खाना अपनी थाली में शामिल करें. इसी के साथ-साथ अदरक, सेंधा नमक, मूंग की दाल की खिचड़ी का सेवन करें, जो सर्दी से बचाने का काम करेगी.

क्या ना खाएं : सर्दी में लोग ठंडी चीजें खाने से बचते हैं. इसी के साथ सर्दी में तला-भुना खाने से भी बचना चाहिए. सर्दी में नॉन-सीजनल फूड खाने से बचें.

बसंत ऋतु (मार्च से अप्रैल)

क्या खाएं : मार्च के मौसम में ठंड का असर कम होने लगता है और मौसम गरम होने लगता है. ऐसे में मार्च और अप्रैल के महीने में केला, खीरा, हींग, तोरई, गेहूं, चावल, ज्वार, मूंग, मसूर की दाल, अरहर, आंवला, मेथी और जीरा जैसी चीजों का सेवन करें.

क्या ना खाएं : मार्च और अप्रैल के महीनों में खट्ठी चीजों का परहेज करना जरूरी है. इन महीनों में उड़द, आलू, सिंघाड़ा, खट्ठे-मीठे और चिकने पदार्थ खाने से बचें. मार्च और अप्रैल में इन्हें खाने से कफ की समस्या बढ़ सकती है.

गर्मी (मई से जून)

क्या खाएं : गर्मी के मौसम में लोगों का जीना मुहाल हो जाता है. गर्मी में लोग गरमा गर्म खाना खाने से भी परहेज करते हैं. शरीर में गर्मी ना हो इसके लिए पुराना गेहूं खाना लाभदायक होता है. गर्मी में पेट को ठंडक पहुंचाने के लिए ठंडी चीजें जैसे सत्तू और फल के साथ-साथ खीर, दूध, करेला, परवल, ककड़ी, खीरा और तरबूज का सेवन करें.

क्या ना खाएं : गर्मी में तेल और मसालेदार भोजन से बचना चाहिए. गर्मी में अगर चटपटी चीजों के साथ-साथ नमकीन और गर्म तासीर की चीजों का सेवन करते हैं तो कब्ज की समस्या घेर सकती है.

बारिश (जुलाई से सितंबर)


क्या खाएं : बारिश के मौसम में खाने का खास ध्यान रखा जाता है. इन महीनों में पुराने चावल की खिचड़ी के साथ पुराने गेहूं और आसानी से पच जाने वाले भोजन का सेवन करना चाहिए.

क्या ना खाएं : बारिश के मौसम में पाचन क्रिया अच्छे से काम नहीं करती है. सावन के महीने में हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन ना करें.

शरद (अक्टूबर से नवंबर)

क्या खाएं : अक्टूबर से ठंड शुरू होने लगती है. इस महीनों में जी-भरकर खाना खा सकते हैं. इसमें आप खीर, गुड़, घी, आंवला, नींबू, अनार, मुनक्का, नारियल और गोभी आदि का सेवन करें.

क्या ना खाएं : वहीं, इस मौसम में बासी चीजों को ना खाएं और पेट को ज्यादा समय तक भूखा ना रखें और उपवास ना करें.

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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