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This Article is From May 26, 2024

आज है एकदंत संकष्टी चतुर्थी, गणपति बप्पा को भक्त इस तरह कर सकते हैं खुश

चतुर्थी पर एकदंत भगवान श्री गणेश की विधि-विधान से पूजा-अर्चना करने से साधकों के सभी विघ्न दूर हो जाते हैं. इतना ही नहीं माना जाता है कि जो साधक संकष्टी चतुर्थी पर व्रत करते हैं, उन्हें असीम फलों की प्राप्ति होती है.

आज है एकदंत संकष्टी चतुर्थी, गणपति बप्पा को भक्त इस तरह कर सकते हैं खुश
जानिए संकष्टी चतुर्थी पर भगवान श्री गणेश की पूजा कैसे करें.

Sankashti Chaturthi 2024: हिंदू कैलेंडर के अनुसार, हर महीने की चतुर्थ तिथि भगवान श्री गणेश को समर्पित होती है. ऐसे में मई के महीने में संकष्टी चतुर्थी का त्योहार मनाया जाएगा. इस दिन एकदंत भगवान श्री गणेश (Lord Ganesha) की विधि-विधान से पूजा-अर्चना करने से साधकों के सभी विघ्न दूर हो जाते हैं. इतना ही नहीं माना जाता है कि जो साधक संकष्टी चतुर्थी पर व्रत करते हैं, उन्हें असीम फलों की प्राप्ति होती है. तो चलिए हम आपको बताते हैं कि किस दिन एकदंत संकष्टी चतुर्थी मनाई जाएगी और इस दौरान आपको क्या कुछ करना चाहिए.

संकष्टी चतुर्थी 2024 तिथि और शुभ मुहूर्त 

एकदंत संकष्टी चतुर्थी ज्येष्ठ माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाई जाएगी, जो 26 मई दोपहर 4:36 पर शुरू होगी और इसका समापन 27 मई को दोपहर 3:23 पर होगा. ऐसे में इस वर्ष एकदंत संकष्टी चतुर्थी का व्रत (Sankashti Chaturthi Vrat) 26 मई 2024, रविवार के दिन ही किया जाएगा.

अब बात आती है कि संकष्टी चतुर्थी पर भगवान श्री गणेश की पूजा कैसे करें. तो उसके लिए सुबह सबसे पहले जल्दी उठकर स्नान ध्यान करें, मंदिर की सफाई करें, भगवान गणेश की पूजा करने के लिए धूप-दीप जलाएं, उन्हें फल, फूल अर्पित करें. इस दौरान भगवान गणेश का प्रिय भोग मोदक या लड्डू अर्पित करना बहुत शुभ माना जाता है. आखिर में गणेश जी की आरती करें और अगर आप व्रत कर रहे हैं तो व्रत का संकल्प लें और शाम को या अगले दिन व्रत का पारण करें.

संकष्टी चतुर्थी पर भगवान श्री गणेश की पूजा अर्चना करने के दौरान आप इन मंत्रों का जाप करें-

ॐ नमो गणपतये कुबेर येकद्रिको फट् स्वाहा।

इदं दुर्वादलं ऊं गं गणपतये नमः।।

ऊं ह्रीं ग्रीं ह्रीं

ॐ श्रीं गं सौभ्याय गणपतये वर वरद सर्वजनं में वशमानय स्वाहा।

कहते हैं कि इन मंत्रों का जाप करने से मानसिक शांति मिलती है और भगवान श्री गणेश की कृपा हमेशा बनी रहती है. आप एक माला के अनुसार 108 बार इस मंत्र का जाप कर सकते हैं. आप काम करते समय या पूजा करते समय कभी भी इन मंत्रों का जाप करके भगवान श्री गणेश की पूजा का लाभ पा सकते हैं.

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

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