बांदा शहर के राम जानकी मंदिर से कथित तौर पर 30 साल पूर्व चोरी हुई भगवान श्रीकृष्ण की खंडित अष्टधातु की मूर्ति मवई बुजुर्ग गांव में एक कुएं की सफाई के दौरान मजदूरों को मिली. पुलिस ने उसे कब्जे में ले लिया है.
शहर कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक (एसएचओ) दिनेश सिंह ने बताया कि मवई बुजुर्ग ग्राम प्रधान के प्रतिनिधि रामकिशोर की सूचना पर गांव के अवस्थी तालाब से मूर्ति बुधवार को निकाली गई है.
उन्होंने बताया कि वह मूर्ति भगवान श्रीकृष्ण की है और उसके दाहिने हाथ का हिस्सा खंडित है. कुछ स्थानीय लोग बताते हैं कि यह मूर्ति अष्टधातु की है और 30 साल पहले शहर के प्रागी तालाब स्थित राम जानकी मंदिर से चोरी हुई थी.
सिंह ने कहा कि चोरी से संबंधित दर्ज प्राथमिकी खंगाली जा रही है और मूर्ति अष्टधातु की है या नहीं, इसकी जांच कराई जाएगी.
ग्राम प्रधान के प्रतिनिधि रामकिशोर ने बताया कि अवस्थी कुएं के सफाई की जिम्मेदारी ठेके पर अजय सिंह नामक व्यक्ति को ग्राम पंचायत से दी गई थी. दो-तीन दिन पहले मजदूरों को सफाई करते हुए यह मूर्ति मिली और इसके बंटवारे को लेकर मजदूरों के बीच विवाद शुरू हो गया था.
उन्होंने बताया कि विवाद होने पर मूर्ति मिलने की जानकारी ग्रामीणों को हुई थी और फिर पुलिस ने कुएं से मूर्ति बरामद की. करीब 15 किलो की यह मूर्ति अष्टधातु की बनी है जिसकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में कीमत करोड़ों रुपये हो सकती है.
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