कैलाश मानसरोवर यात्रियों का पहला जत्था आइटीबीपी की 7वीं वाहिनी मिर्थी, उत्तराखंड पहुंचा जहां उनका भव्य स्वागत किया गया. इस दल को विदेश मंत्री एस जयशंकर ने 11 जून 2019 को नई दिल्ली से रवाना किया था. 58 सदस्यीय इस पहले दल का आईटीबीपी ने परंपरागत छोलिया डांस और उत्तराखंड की परंपरा के अनुसार स्वागत किया. आइटीबीपी कैलाश मानसरोवर यात्रियों के लिए सुरक्षा संचार और चिकित्सा की सुविधा उपलब्ध करवाती है और भारतीय क्षेत्र में यात्रियों की सुगम यात्रा की हर संभव प्रयास करती है.
Uttarakhand: First batch of the Kailash Mansarovar Yatra pilgrims through Lipulekh route today reached ITBP Camp, Mirthi. The 58-member batch was flagged off on 11 June from Delhi. pic.twitter.com/fwjIUIzf7l
— ANI (@ANI) June 13, 2019
इस वर्ष नाथूला मार्ग से 10 और लिपुलेख मार्ग से कुल 18 यात्री दलों के जाने का कार्यक्रम प्रस्तावित है. नाथूला मार्ग से प्रत्येक बैच में 50 यात्री और परंपरागत लिपुलेख मार्ग से प्रत्येक मैच में 60 यात्रियों को ले जाया जाएगा. वर्ष 1981 में प्रारंभ हुए कैलाश मानसरोवर यात्रा में प्रारंभ से ही आईटीबीपी ने केंद्रीय भूमिका निभाई है.
कैलाश मानसरोवर तिब्बत में कैलाश माउंटेन रेंज में 21,778 फीट की ऊंचाई पर स्थित है. हिंदू इसे भगवान शिव का निवास स्थान मानते हैं.
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