फाइल फोटो
नई दिल्ली:
दिल्ली सरकार के पर्यावरण और वन विभाग ने दिल्ली के पर्यावरण और वन मंत्री इमरान हुसैन को जो स्टेटस रिपोर्ट दी है उसके मुताबिक, कुल मिलाकर अभी तक 4871 पेड़ों को काटने की मंज़ूरी दी गई, जिसमें से कुल 2627 पेड़ ही अभी तक काटे गए हैं. जो पेड़ अभी तक काटे गए हैं उसके बदले कहां पेड़ लगाए गए है इसकी जानकारी अभी तक नहीं है. वहीं हाईकोर्ट ने कहा है कि एनजीटी में मामले की सुनवाई तक रोक लगाई है. दिल्ली हाईकोर्ट ने एनबीसीसी के पेड़ काटने पर सवाल उठाए हैं. हाईकोर्ट ने कहा कि आप आवास बनाने के लिए हजारों पेड़ काटना चाहते हैं और क्या दिल्ली ये अफोर्ड कर सकते है.
वहीं आम आदमी के पार्टी के प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आप ने NBCC और केंद्र सरकार द्वारा पेड़ काटने का फैसला लिया गया था, लेकिन फिर दिल्ली सरकार के वन विभाग ने अपात्ति जताई थी. एनजीटी को दिल्ली सरकार बताएगी कि किस तरह किस्तों में कम कम आंकड़े प्रस्तावित कर पेड़ काटने की अनुमति एलजी साहब ने दी. आज दिल्ली सरकार के स्टैंडिंग कॉउंसिल रमेश कुमार ने पार्टी बनने की मांग रखी जिसे स्वीकार किया गया है. NBCC प्रोजेक्ट की अनुमति मंत्री डॉ हर्षवर्धन के विभाग ने दी. पेड़ काटने का प्लान केंद्र सरकार ने तैयार किया गया है. बीजेपी और कांग्रेस गोलमोल बातें कर रही है. बीजेपी सरकार इस योजना को बंद कर दे तब इस प्रोजेक्ट में ठेकेदार को बार बार प्रेस कॉन्फ्रेंस नहीं करनी पड़ेगी. सुबह-सुबह वन विभाग के अधिकारियों को मंत्री इमरान हुसैन ने बुलाया था लेकिन एलजी साहब ने उन्हें आपने पास बुला लिया. 20 सेंटीमीटर पेड़ के लिए के लिए अनुमति ली जा रही हैं जबकि इससे कम सेंटीमीटर के न जाने कितने पेड़ काट दिए गए होंगे. शनिवार को आदेश दिए गए कि एक भी पेड़ न कटें.
16000 पेड़ काटने पर HC का सवाल, क्या दिल्ली इतने पेड़ों की कटाई झेल सकती है? 4 जुलाई तक लगी रोक
1. नौरोजी नगर- 1454 पेड़ काटे गए, 11 ट्रांसप्लांट की मंज़ूरी दी. स्टेटस- 1302 काटे गए, 84 को ट्रांसप्लांट की कोशिश हुई 1513 में से 127 बचे/खड़े हुए हैं.
2. नेताजी नगर- 2294 हरे पेड़ काटने की इजाज़त, 21 सूखे पेड़ काटने, 175 को ट्रांसप्लांट की इजाज़त दी. स्टेटस- पहले फेज में 856 पेड़ काटने की इजाज़त दी, जिसमें से 202 काटे गए
3. किदवई नगर - 1123 पेड़ काटने की इजाज़त, 44 ट्रांसप्लांट की इजाज़त
4. मोहम्मदपुर- 447 पेड़ काटने का प्रस्ताव आया. मंत्री इमरान हुसैन ने संख्या घटाने के लिए प्रस्ताव वापिस भेजा. मुख्य सचिव ने भी मंत्री की बात को सही मानते हुए प्रस्ताव वापिस भेजा
5. त्यागराज नगर- 100 पेड़ काटने, 8 ट्रांसप्लांट की इजाज़त मांगी गई. फ़ाइल आगे भेजी गई लेकिन मंज़ूरी अभी नहीं
दिल्ली में पेड़ों को बचाने के लिए लोगों ने शुरू किया 'चिपको आंदोलन', इस आदेश का हो रहा है विरोध
6. सरोजिनी नगर- 11 हज़ार पेड़ काटने का प्रस्ताव लौटाया गया, क्योंकि काटने वाले पेड़ की संख्या बहुत ज़्यादा थी और प्रस्ताव में ये कहीं नही बताया गया कि इतनी बड़ी संख्या में पेड़ काटने पर जो हर्जाने के तौर पर पेड़/पौधे लगेंगे वो कहां लगाए जाएंगे? सरकार दावा कर रही है कि एक पेड़ काटेंगे तो दस लगाएंगे लेकिन सरोजिनी नगर में जब 11 हज़ार पेड़ काटने की इजाज़त मांगी गई तो प्रस्ताव में ये नहीं बताया कि हर्जाने में लगाये जाने वाले (एक लाख दस हज़ार पेड़/पौधे) कहां लगाए जाएंगे. इसी आधार पर सरोजिनी नगर में पेड़ काटने की मंज़ूरी नहीं मिली.
7. कस्तूरबा नगर और श्रीनिवासपुरी के लिए कोई प्रस्ताव नहीं मिला है.
हाईकोर्ट ने कहा कि अगर रोड बनाने आदि के लिए पेड़ काटने होते तो ठीक था. कोर्ट ने NBCC को कहा कि आप तो सिर्फ एजेंसी हैं जो काम कर रही है. हम सरकारी एजेंसियों की बात सुनना चाहते हैं. एनजीटी का आदेश कहां है जिसमें कहा गया कि पेड़ काट सकते हैं
हरियाणा सरकार की पहल, एक पेड़ लगाने पर स्टूडेंट्स को मिलेंगे 50 रुपये
NBCC की ओर से कोर्ट में कहा गया कि दो जुलाई को मामला NGT में सुनवाई के लिए आएगा. हाईकोर्ट को मामले की सुनवाई नहीं करनी चाहिए. ट्री अथॉरिटी ने भी पेड़ काटने की इजाजत दी है. हमने आठ करोड़ रुपये डीडीए में जमा भी कराए हैं. दिल्ली हाइकोर्ट के दख़ल के बाद NBCC की अंडरटेकिंग दी है जिसमें कहा गया है कि 4 जुलाई तक दिल्ली में पेड़ नहीं काटे जाएंगे. इस मामले की सुनवाई एनजीटी में दो जुलाई को होनी है.
VIDEO: 16000 पेड़ काटने पर HC का सवाल
वहीं आम आदमी के पार्टी के प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आप ने NBCC और केंद्र सरकार द्वारा पेड़ काटने का फैसला लिया गया था, लेकिन फिर दिल्ली सरकार के वन विभाग ने अपात्ति जताई थी. एनजीटी को दिल्ली सरकार बताएगी कि किस तरह किस्तों में कम कम आंकड़े प्रस्तावित कर पेड़ काटने की अनुमति एलजी साहब ने दी. आज दिल्ली सरकार के स्टैंडिंग कॉउंसिल रमेश कुमार ने पार्टी बनने की मांग रखी जिसे स्वीकार किया गया है. NBCC प्रोजेक्ट की अनुमति मंत्री डॉ हर्षवर्धन के विभाग ने दी. पेड़ काटने का प्लान केंद्र सरकार ने तैयार किया गया है. बीजेपी और कांग्रेस गोलमोल बातें कर रही है. बीजेपी सरकार इस योजना को बंद कर दे तब इस प्रोजेक्ट में ठेकेदार को बार बार प्रेस कॉन्फ्रेंस नहीं करनी पड़ेगी. सुबह-सुबह वन विभाग के अधिकारियों को मंत्री इमरान हुसैन ने बुलाया था लेकिन एलजी साहब ने उन्हें आपने पास बुला लिया. 20 सेंटीमीटर पेड़ के लिए के लिए अनुमति ली जा रही हैं जबकि इससे कम सेंटीमीटर के न जाने कितने पेड़ काट दिए गए होंगे. शनिवार को आदेश दिए गए कि एक भी पेड़ न कटें.
16000 पेड़ काटने पर HC का सवाल, क्या दिल्ली इतने पेड़ों की कटाई झेल सकती है? 4 जुलाई तक लगी रोक
1. नौरोजी नगर- 1454 पेड़ काटे गए, 11 ट्रांसप्लांट की मंज़ूरी दी. स्टेटस- 1302 काटे गए, 84 को ट्रांसप्लांट की कोशिश हुई 1513 में से 127 बचे/खड़े हुए हैं.
2. नेताजी नगर- 2294 हरे पेड़ काटने की इजाज़त, 21 सूखे पेड़ काटने, 175 को ट्रांसप्लांट की इजाज़त दी. स्टेटस- पहले फेज में 856 पेड़ काटने की इजाज़त दी, जिसमें से 202 काटे गए
3. किदवई नगर - 1123 पेड़ काटने की इजाज़त, 44 ट्रांसप्लांट की इजाज़त
4. मोहम्मदपुर- 447 पेड़ काटने का प्रस्ताव आया. मंत्री इमरान हुसैन ने संख्या घटाने के लिए प्रस्ताव वापिस भेजा. मुख्य सचिव ने भी मंत्री की बात को सही मानते हुए प्रस्ताव वापिस भेजा
5. त्यागराज नगर- 100 पेड़ काटने, 8 ट्रांसप्लांट की इजाज़त मांगी गई. फ़ाइल आगे भेजी गई लेकिन मंज़ूरी अभी नहीं
दिल्ली में पेड़ों को बचाने के लिए लोगों ने शुरू किया 'चिपको आंदोलन', इस आदेश का हो रहा है विरोध
6. सरोजिनी नगर- 11 हज़ार पेड़ काटने का प्रस्ताव लौटाया गया, क्योंकि काटने वाले पेड़ की संख्या बहुत ज़्यादा थी और प्रस्ताव में ये कहीं नही बताया गया कि इतनी बड़ी संख्या में पेड़ काटने पर जो हर्जाने के तौर पर पेड़/पौधे लगेंगे वो कहां लगाए जाएंगे? सरकार दावा कर रही है कि एक पेड़ काटेंगे तो दस लगाएंगे लेकिन सरोजिनी नगर में जब 11 हज़ार पेड़ काटने की इजाज़त मांगी गई तो प्रस्ताव में ये नहीं बताया कि हर्जाने में लगाये जाने वाले (एक लाख दस हज़ार पेड़/पौधे) कहां लगाए जाएंगे. इसी आधार पर सरोजिनी नगर में पेड़ काटने की मंज़ूरी नहीं मिली.
7. कस्तूरबा नगर और श्रीनिवासपुरी के लिए कोई प्रस्ताव नहीं मिला है.
हाईकोर्ट ने कहा कि अगर रोड बनाने आदि के लिए पेड़ काटने होते तो ठीक था. कोर्ट ने NBCC को कहा कि आप तो सिर्फ एजेंसी हैं जो काम कर रही है. हम सरकारी एजेंसियों की बात सुनना चाहते हैं. एनजीटी का आदेश कहां है जिसमें कहा गया कि पेड़ काट सकते हैं
हरियाणा सरकार की पहल, एक पेड़ लगाने पर स्टूडेंट्स को मिलेंगे 50 रुपये
NBCC की ओर से कोर्ट में कहा गया कि दो जुलाई को मामला NGT में सुनवाई के लिए आएगा. हाईकोर्ट को मामले की सुनवाई नहीं करनी चाहिए. ट्री अथॉरिटी ने भी पेड़ काटने की इजाजत दी है. हमने आठ करोड़ रुपये डीडीए में जमा भी कराए हैं. दिल्ली हाइकोर्ट के दख़ल के बाद NBCC की अंडरटेकिंग दी है जिसमें कहा गया है कि 4 जुलाई तक दिल्ली में पेड़ नहीं काटे जाएंगे. इस मामले की सुनवाई एनजीटी में दो जुलाई को होनी है.
VIDEO: 16000 पेड़ काटने पर HC का सवाल
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