प्रतीकात्मक फोटो
नई दिल्ली:
दिल्ली के नजफगढ़ में सोमवार को तड़के एक मां और बेटी ने आत्महत्या कर ली. दोनों के शव पंखे से लटके मिले.
पुलिस के मुताबिक 48 साल की मां अनीता सरकारी स्कूल में टीचर थीं. उनकी बेटी शिया उसी स्कूल में 12वीं में पढ़ती थी. अनीता के पति उसी स्कूल में सुबह की शिफ्ट में प्रिंसिपल हैं. घर से अनीता का लिखा तीन पेज का सुसाइड नोट मिला है जिसको घर की दीवार पर चस्पा किया गया था.
सुसाइड नोट में अनीता लिखती है कि,"मेरी मासूम बेटी खत्म हो गई अब कोई गंदा इंसान यह नहीं कहेगा कि वो काम नहीं करवाती, वो भगवान के पास चली गई वही उसका घर है. मेरी प्यारी बच्ची मैं कमाकर भी तुम्हे कुछ नहीं दे पाई. अपनी मरी बच्ची को गले लगाकर खूब प्यार किया. मेरी बेटी का इज्जत से अंतिम संस्कार करना. मैं चाहती हूं कि गुड्डा और उसके पापा यह न देखें, क्रूर दृश्य. पहले ही हमारा दाह संस्कार कर देना. सबको नमस्ते." सुसाइड नोट में एक जगह यह भी लिखा है कि "नहीं तो क्रूर तो हम पढ़ो और काम सिखाओ." हालांकि वो लाइन कटी हुई है और उसका मतलब क्या है यह समझना मुश्किल है.
पुलिस के मुताबिक अनीता का बेटा गुड्डा हार्मोनल बीमारी के चलते जयपुर के एक अस्पताल में एडमिट है और अनीता के पति ने बताया कि पिछले कुछ दिनों से अनीता बार-बार जयपुर जाने के लिए उन पर दबाब बना रहीं थी. जैसे भी अनीता के पति उसके कहने पर जयपुर के लिए निकले अनीता ने बेटी के साथ सुसाइड कर लिया.
पुलिस के मुताबिक अनीता लंबे समय से डिप्रेशन से जूझ रही थी. अनीता ने अपने सुसाइड नोट में जिस गंदे इंसान का जिक्र किया है वह कौन है अब तक यह भी साफ नहीं है. क्या अनीता अपने पति से परेशान थी या फिर किसी और से, सुसाइड नोट से कुछ भी साफ नहीं हो रहा है. पुलिस अभी सुसाइड नोट के कंटेंट की एक्सपर्ट से जांच करवा रही है.
पुलिस के मुताबिक 48 साल की मां अनीता सरकारी स्कूल में टीचर थीं. उनकी बेटी शिया उसी स्कूल में 12वीं में पढ़ती थी. अनीता के पति उसी स्कूल में सुबह की शिफ्ट में प्रिंसिपल हैं. घर से अनीता का लिखा तीन पेज का सुसाइड नोट मिला है जिसको घर की दीवार पर चस्पा किया गया था.
सुसाइड नोट में अनीता लिखती है कि,"मेरी मासूम बेटी खत्म हो गई अब कोई गंदा इंसान यह नहीं कहेगा कि वो काम नहीं करवाती, वो भगवान के पास चली गई वही उसका घर है. मेरी प्यारी बच्ची मैं कमाकर भी तुम्हे कुछ नहीं दे पाई. अपनी मरी बच्ची को गले लगाकर खूब प्यार किया. मेरी बेटी का इज्जत से अंतिम संस्कार करना. मैं चाहती हूं कि गुड्डा और उसके पापा यह न देखें, क्रूर दृश्य. पहले ही हमारा दाह संस्कार कर देना. सबको नमस्ते." सुसाइड नोट में एक जगह यह भी लिखा है कि "नहीं तो क्रूर तो हम पढ़ो और काम सिखाओ." हालांकि वो लाइन कटी हुई है और उसका मतलब क्या है यह समझना मुश्किल है.
पुलिस के मुताबिक अनीता का बेटा गुड्डा हार्मोनल बीमारी के चलते जयपुर के एक अस्पताल में एडमिट है और अनीता के पति ने बताया कि पिछले कुछ दिनों से अनीता बार-बार जयपुर जाने के लिए उन पर दबाब बना रहीं थी. जैसे भी अनीता के पति उसके कहने पर जयपुर के लिए निकले अनीता ने बेटी के साथ सुसाइड कर लिया.
पुलिस के मुताबिक अनीता लंबे समय से डिप्रेशन से जूझ रही थी. अनीता ने अपने सुसाइड नोट में जिस गंदे इंसान का जिक्र किया है वह कौन है अब तक यह भी साफ नहीं है. क्या अनीता अपने पति से परेशान थी या फिर किसी और से, सुसाइड नोट से कुछ भी साफ नहीं हो रहा है. पुलिस अभी सुसाइड नोट के कंटेंट की एक्सपर्ट से जांच करवा रही है.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं