...तो महमूदुल्लाह यह कारनामा करने वाले 144 साल के इतिहास और 3000 खिलाड़ियों में इकलौते खिलाड़ी होंगे

अगर महमूदुल्लाह (Mahmudullah) अपने फैसले से जुड़े रहते हैं, तो वह करीब 144 साल के टेस्ट इतिहास में ऐसा रिकॉर्ड बना देंगे, जो कभी किसी खिलाड़ी ने नहीं बनाया है. साल 1877 में खेले गए पहले टेस्ट के बाद से वर्तमान समय तक अलग-अलग देशों के तकरीबन 3000 से ज्यादा टेस्ट खिलाड़ियों को टेस्ट  कैप पहनने का सौभाग्य मिला है, लेकिन ये तमाम खिलाड़ी वह करने में नाकाम रहे, जो महमूदुल्ला ने कर डाला. 

...तो महमूदुल्लाह यह कारनामा करने वाले 144 साल के इतिहास और 3000 खिलाड़ियों में इकलौते खिलाड़ी होंगे

महमूदुल्लाह बांग्लादेश टी20 टीम के कप्तान हैं

खास बातें

  • जो बड़े-बड़े नहीं कर सके, वह महमूदल्ला ने कर डाला!
  • महमूदुल्लाह के इस रिकॉर्ड को कौन तोड़ेगा?
  • इस रिकॉर्ड को तोड़ना मुश्किल ही नहीं, बल्कि...
नई दिल्ली:

अब यह तो आप जानते ही हैं कि बांग्लादेश के टी20 कप्तान महमूदुल्लाह (Mahumdullah) ने  शनिवार को टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लेकर अपने देशवासियों और क्रिकेट बोर्ड को चौंका दिया था. हालांकि, अभी तक महमूदुल्लाह ने आधिकारिक रूप से बांग्लादेश बोर्ड को इसके बारे में सूचना नहीं दी है, लेकिन उन्होंने टीम मैनेजमेंट को सूचित कर दिया है कि वह अब टेस्ट करियर को आगे बढ़ाने के इच्छूक नहीं हैं और जल्द ही आधिकारिक रूप से इसका ऐलान कर देंगे. महमूदुल्लाह के इस फैसले से उनके साथ भी हैरान हैं. वजह यह है कि 35 साल महमूदुल्ला ने जिंबाब्बे के खिलाफ खेले हालिया अपने आखिरी टेस्ट में 150 रन से ऊपर की पारी खेली थी, जो उनके टेस्ट करियर का सर्वश्रेष्ठ स्कोर है.  

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बहरहाल, अगर महमूदुल्लाह अपने फैसले से जुड़े रहते हैं, तो वह करीब 144 साल के टेस्ट इतिहास में ऐसा रिकॉर्ड बना देंगे, जो कभी किसी खिलाड़ी ने नहीं बनाया है. साल 1877 में खेले गए पहले टेस्ट के बाद से वर्तमान समय तक अलग-अलग देशों के तकरीबन 3000 से ज्यादा टेस्ट खिलाड़ियों को टेस्ट  कैप पहनने का सौभाग्य मिला है, लेकिन ये तमाम खिलाड़ी वह करने में नाकाम रहे, जो महमूदुल्ला ने कर डाला. 


अगर महमूदुल्लाह बोर्ड के मनाने पर नहीं मानते हैं या टेस्ट से अपने संन्यास लेने के फैसले पर कायम रहते हैं, तो वह टेस्ट इतिहास के पहले ऐसे खिलाड़ी बन जाएंगे, जिन्होंने अपने करियर के पहले ही टेस्ट में एक पारी में पांच विकेट चटकाए, तो आखिरी टेस्ट में शतक जड़ा. महमूदुल्लाह ने करयिर के पहले टेस्ट में कुल मिलाकर आठ विकेट चटकाए थे. वहीं, जिंबाब्वे के खिलाफ हरारे में उन्होंने पहली पारी में आठवें नबर पर बल्लेबाजी करते हुए नाबाद 150 रन की पारी खेली. 

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जिंबाब्वे के खिलाफ महमूदुल्लाह का यह करियर का 50वां टेस्ट मैच है. और उन्होंने इन मैचों में 33.49 के औसत से अभी त 2914 रन बनाए हैं. बहरहाल, अगर महमूदुल्लाह संन्यास से जुड़े रहते हैं, तो वह एक ऐसी उपलब्धि के साथ रिटायर होंगे, जिसे तोड़ना किसी के लिए भी स्वप्न सरीखा होगा. मतलब पहले ही टेस्ट में पारी में पांच विकेट और आखिरी टेस्ट में शतक. 
 

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