यह ख़बर 04 अक्टूबर, 2012 को प्रकाशित हुई थी

ट्वेंटी-20 विश्व कप : पाकिस्तान को हराकर श्रीलंका फाइनल में

खास बातें

  • पाकिस्तान ने अनुशासित गेंदबाजी का अच्छा नमूना भले ही पेश किया हो लेकिन श्रीलंका द्वारा बनाए गए 139 रन का लक्ष्य उसके सामने पहाड़ बन गया और वह सेमी-फाइनल में 16 रन से हार गया।
कोलम्बो:

पाकिस्तान कम लक्ष्य के सामने अपेक्षाकृत अच्छी शुरुआत से जब बेहतर स्थिति में दिख रहा था तब पहले श्रीलंकाई एंजेलो मैथ्यूज और बाद में रंगना हेराथ ने अपने एक एक ओवर में दो-दो विकेट लेकर गुरुवार को आईसीसी विश्व ट्वेंटी-20 सेमी-फाइनल का नक्शा पलट दिया।

आखिर में ये दो ओवर टर्निंग प्वाइंट साबित हुए। पाकिस्तान का स्कोर दसवां ओवर शुरू होने से पहले तक एक विकेट पर 55 रन था, लेकिन मैथ्यूज ने अपने अगले ओवर में बेहतरीन फार्म में चल रहे नासिर जमशेद और अनुभवी कामरान अकमल को आउट करके स्कोर तीन विकेट पर 57 रन कर दिया। बाद में मोहम्मद हफीज और उमर अकमल ने पारी संवारने का प्रयास किया।

ये दोनों 14वें ओवर तक टीम का स्कोर चार विकेट पर 91 रन तक ले गए। अब पाकिस्तान को जीत के लिए 36 गेंद पर 48 रन चाहिए थे और उसके छह विकेट शेष थे। हेराथ ने पंद्रहवें ओवर की पहली दो गेंद पर हफीज और शाहिद अफरीदी को आउट करके पाकिस्तान की ऐसी चूलें हिलाई जिससे वह आखिर तक नहीं उबर पाया।

इससे पहले, पाकिस्तान ने अनुशासित गेंदबाजी का अच्छा नमूना पेश करके आईसीसी विश्व ट्वेंटी-20 विश्वकप के पहले सेमी-फाइनल में मेजबान श्रीलंका को गुरुवार को चार विकेट पर 139 रन ही बनाने दिए।

श्रीलंका के बल्लेबाज शुरू से रन बनाने के लिए जूझते रहे। आलम यह था कि तिलकरत्ने दिलशान जैसा तेजतर्रार बल्लेबाज 43 गेंद खर्च करने के बावजूद 35 रन ही बना पाया। कप्तान माहेला जयवर्धने ने 36 गेंद पर 42 रन बनाए। पाकिस्तान की तरफ से कप्तान मोहम्मद हफीज, उमर गुल, शाहिद अफरीदी और सईद अजमल ने एक-एक विकेट लिया जबकि सोहेल तनवीर ने तीन ओवर में केवल 11 रन दिए।

आर प्रेमदासा स्टेडियम की पिच काफी धीमी खेल रही थी। इंग्लैंड और न्यूजीलैंड की महिला टीमों के बीच सेमी-फाइनल से साफ हो गया था कि इसमें गेंद नीचे रहेगी। श्रीलंका ने इन परिस्थितियों में पहले बल्लेबाजी करना ही उचित समझा।

पाकिस्तानी कप्तान की भी इसी तरह की राय थी। जयवर्धने और दिलशान ने पहले विकेट के लिए 63 रन की साझेदारी की लेकिन इसके लिए उन्होंने 62 गेंद खर्च कर डाली। इसमें भी जयवर्धने का योगदान अधिक था जबकि दिलशान शुरू से ही रन बनाने के लिए जूझते रहे। इन दोनों ने बल्लेबाजों ने चौके से खाता खोला लेकिन इसके बाद वे लगातार गेंद को सीमा रेखा के दर्शन नहीं करा पाए।

जयवर्धने ने पाकिस्तान के मुख्य स्पिनर अजमल को निशाने पर रखने की कोशिश की तथा जब वह छठे ओवर में गेंदबाजी के लिए आए तो दो चौकों से उनका स्वागत किया। शाहिद अफरीदी का स्वागत भी उन्होंने चौके से किया लेकिन इसी गेंदबाज के तीसरे ओवर में स्कूप करने के प्रयास में वह आसान कैच देकर पवेलियन लौटे। श्रीलंकाई कप्तान ने अपनी पारी में सात चौके लगाए।

दिलशान 18वें ओवर तक क्रीज पर रहे लेकिन आखिर तक रन बनाने के लिए जूझते रहे। पाकिस्तान ने उमर गुल को खासकर डेथ ओवरों के लिए बचाकर रखा था। नोबाल के कारण गुल को जीवन मेंडिस (18 गेंद पर 15 रन) का विकेट नहीं मिला लेकिन इसी ओवर में उन्होंने दिलशान को एलबीडब्ल्यू आउट कर दिया।

दिलशान अपनी पारी में केवल तीन चौके लगा पाए। कामरान अकमल ने जीवन मेंडिस को स्टंप आउट किया। इसके साथ ही वह ट्वेंटी-20 अंतरराष्ट्रीय में 50 शिकार करने वाले पहले विकेटकीपर बन गए। गुल ने अपने पहले दो ओवर में केवल दस रन दिए थे लेकिन उनके तीसरे और पारी के आखिरी ओवर में 16 रन बने जिसमें तीन चौके शामिल हैं।

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श्रीलंका मैच जीतकर दूसरी बार फाइनल में पहुंच गया जबकि पाकिस्तान तीसरी बार खिताबी मुकाबले में जगह बनाने में नाकाम रहा। यह टी-20 विश्वकप में दूसरा अवसर है जबकि पाकिस्तान सेमी-फाइनल में पराजित हुआ।