यह ख़बर 22 जून, 2012 को प्रकाशित हुई थी

तेंदुलकर ने कहा, संसद में चिल्लाने की जरूरत नहीं पड़ेगी

खास बातें

  • बेहद मृदुभाषी और हमेशा अपने बल्ले से जवाब देने वाले सचिन तेंदुलकर ने कहा कि राज्यसभा में उन्हें चिल्लाने की जरूरत नहीं पड़ेगी और वह पूरी शिष्टता से अपनी बात रखेंगे।
नई दिल्ली:

बेहद मृदुभाषी और हमेशा अपने बल्ले से जवाब देने वाले सचिन तेंदुलकर ने कहा कि राज्यसभा में उन्हें चिल्लाने की जरूरत नहीं पड़ेगी और वह पूरी शिष्टता से अपनी बात रखेंगे।

तेंदुलकर को राष्ट्रपति ने राज्यसभा के लिए मनोनीत किया है। उन्होंने हाल में पद और गोपनीयता की शपथ ली थी। इस स्टार बल्लेबाज ने हालांकि अभी तक सदन की कार्यवाही में भाग नहीं लिया है।

अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में शतकों का शतक पूरा करने वाले तेंदुलकर ने कहा कि वह सादगी के साथ अपनी बात रखेंगे और इसके लिए चिल्लाएंगे नहीं जैसा कि आजकल कुछ सांसद करते हैं। उन्होंने एनडीटीवी से कहा, ‘नहीं, मुझे नहीं लगता कि मुझे चिल्लाने की जरूरत पड़ेगी और उम्मीद है कि कोई मुझे इसके लिए उकसाएगा नहीं।’

तेंदुलकर ने राजनेताओं को भी सीख दी कि अपनी बात रखने के लिए चिल्लाना जरूरी नहीं है। उन्होंने कहा, ‘किसी को चिल्लाना क्यों चाहिए। आप शिष्टता से भी अपनी बात रख सकते हैं। आप जो कहना चाहते हैं वह कहें और फिर जो होता है उसे होने दो।’

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तेंदुलकर ने लंदन ओलिंपिक में भाग लेने वाले भारतीय खिलाड़ियों को सलाह दी कि उन्हें इस खेल महाकुंभ में देश का गौरव बढ़ाने के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने पर ध्यान लगाना चाहिए। उन्होंने कहा ‘‘मैं ओलिंपिक में भारतीय दल के अच्छे प्रदर्शन के लिए ईश्वर से प्रार्थना करता हूं। भगवान उन्हें मजबूती प्रदान करे और वे वहां जाकर अच्छा प्रदर्शन कर सकें। मैं यही कह सकता हूं कि अपने खेल का लुत्फ उठाओ और आपको अनुकूल परिणाम मिलेंगे।’