
- भारतीय क्रिकेटर संजय मांजरेकर ने पहले टेस्ट में आक्रमण को कमजोर बताया.
- उन्होंने कुलदीप यादव को टीम में शामिल करने और शार्दुल ठाकुर को बाहर करने की सलाह दी.
- मांजरेकर ने इंग्लैंड की परिस्थितियों के अनुकूल दो मुख्य स्पिनरों के खेलने की आवश्यकता जताई.
Sanjay Manjrekar Statement on Shardul Thakur: पूर्व भारतीय क्रिकेटर संजय मांजरेकर का मानना है कि इंग्लैंड के खिलाफ पहले टेस्ट मैच में भारतीय आक्रमण कमजोर नजर आया और इसको मजबूती प्रदान करने के लिए बायें हाथ के कलाई के स्पिनर कुलदीप यादव को टीम में लाना चाहिए और शार्दुल ठाकुर को बाहर करना चाहिए. तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने हेडिंग्ले में पहली पारी में पांच विकेट चटकाए, लेकिन अन्य भारतीय तेज गेंदबाज मोहम्मद सिराज, प्रसिद्ध कृष्णा और ठाकुर उन्हें पर्याप्त सहयोग नहीं दे पाए. भारतीय टीम के लिए पांच शतकवीर थे, लेकिन फिर भी टीम इंडिया मुकाबला नहीं जीत पाई.
मांजरेकर ने मैच सेंटर लाइव पर कहा,"कुलदीप यादव को वापस आना होगा. मुझे यह कहते हुए दुख हो रहा है, लेकिन शार्दुल ठाकुर को बाहर जाना होगा." उन्होंने कहा,"यह एक बदलाव है जो भारत को करना होगा. जहां तक नीतीश कुमार रेड्डी का सवाल है तो मैंने पहले टेस्ट के लिए उनका समर्थन इस आधार पर किया था कि उन्होंने ऑस्ट्रेलिया में शानदार प्रदर्शन किया था."
मांजरेकर ने कहा,"लेकिन वह पर्याप्त विकल्प प्रदान नहीं करता है. वह टीम में चौथे तेज गेंदबाज की भूमिका में पूरी तरह से खरा नहीं उतर पाएगा इसलिए भारतीय टीम प्रबंधन को कड़ा फैसला लेना होगा. हमें यहां की परिस्थितियों में अपने सर्वश्रेष्ठ आक्रमण के साथ करना होगा और इसके लिए मैं एक तेज गेंदबाज कम रखूंगा और कुलदीप को अंतिम प्लेइंग इलेवन में शामिल करूंगा. उसे खेलना ही होगा."
मांजरेकर ने यह भी कहा कि इंग्लैंड की परिस्थितियां पहले की तरह तेज गेंदबाजी के अनुकूल नहीं हैं, जिससे भारत को दो मुख्य स्पिनरों के साथ खेलने पर विचार करना चाहिए. उन्होंने कहा,"हमें यह स्वीकार करना होगा कि इंग्लैंड की परिस्थितियां पहले की तरह नहीं है तथा मौसम काफी हद तक शुष्क है जिससे स्पिन गेंदबाजों की भूमिका भी महत्वपूर्ण हो जाती है. अब समय आ गया है जब भारत को दो मुख्य स्पिनर के साथ खेलने पर विचार करना चाहिए."
मांजरेकर का मानना है कि बाएं हाथ के स्पिनर रविंद्र जडेजा परिस्थितियों का फायदा उठाने में नाकाम रहे. उन्होंने कहा,"प्रसिद्ध कृष्णा जैसे गेंदबाजों में सुधार की गुंजाइश है लेकिन जडेजा पहले मैच में अपेक्षाओं पर खरा नहीं उतरे. उन्हें पांचवें दिन विकेट से मिल रही मदद का फायदा उठाना चाहिए था."
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