यह ख़बर 02 मार्च, 2013 को प्रकाशित हुई थी

भारतीय गेंदबाजी के सामने नतमस्तक हुए ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज

खास बातें

  • टीम इंडिया की शानदार गेंदबाजी के सामने ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों ने उप्पल स्थित राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में जारी दूसरे टेस्ट मैच के पहले दिन शनिवार को घुटने टेक दिए।
हैदराबाद:

टीम इंडिया की शानदार गेंदबाजी के सामने ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों ने उप्पल स्थित राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में जारी दूसरे टेस्ट मैच के पहले दिन शनिवार को घुटने टेक दिए।

कप्तान माइकल क्लार्क (91) और मैथ्यू वेड (62) के अलावा कोई भी ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज जमकर नहीं खेल सका। तेज गेंदबाज भुवनेश्वर कुमार ने जहां शुरुआती झटके देकर मेहमानों की बल्लेबाज की कमर तोड़ी, वहीं हरभजन सिंह और रविन्द्र जडेजा ने आखिरी के बल्लेबाज को सस्ते में चलता कर दिया।

ऑस्ट्रेलिया के अपनी पारी नौ विकेट के नुकसान पर 237 रनों पर घोषित करने के बाद भारतीय टीम ने पहले दिन का खेले खत्म होने तक बिना कोई विकेट खोए पांच रन बना लिए हैं। वीरेंद्र सहवाग चार और मुरली विजय बिना कोई रन बनाए क्रीज पर जमे हुए हैं।

टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी ऑस्ट्रेलिया पारी की शुरुआत खराब रही थी। तेज गेंदबाज भुवनेश्वर की घातक गेंदबाजी के सामने ऑस्ट्रेलिया की डेविड वार्नर और एड कोवान की सलामी जोड़ी क्रीज पर अधिक समय नहीं गुजार सकी। पहला विकेट वार्नर के रूप में गिरा। वह छह रन बनाकर भुवनेश्वर की गेंद पर बोल्ड हो गए।

कोवान भी 15 रनों के कुल योग पर भुवनेश्वर की गेंद पर पगबाधा आउट हुए। उन्होंने चार रनों का योगदान दिया। इसके बाद बल्लेबाजी करने आए फिल ह्यूज और शेन वाटसन ने कुछ सम्भलकर खेलना शुरू किया। दोनों के बीच 42 रनों की साझेदारी हुई।

इस साझेदारी को तोड़ने का काम भी भुवनेश्वर ने ही किया। वाटसन 23 रन बनाकर पगबाधा आउट हुए। इसके कुछ देर बाद ह्यूज (19) रविचंद्रन अश्विन की गेंद पर महेंद्र सिंह धोनी को कैच थमा बैठे। भोजनावकाश तक ऑस्ट्रेलिया ने 83 रनों पर चार विकेट खो दिए थे।

भोजनकाल और चायकाल के बीच क्लार्क और वेड की जोड़ी ने भारतीय गेंदबाजों का डटकर सामना किया। इस दौरान ऑस्ट्रेलिया का कोई विकेट नहीं गिरा। चायकाल के बाद ऑस्ट्रेलियाई पारी एक बार फिर से लड़खड़ा गई। वेड 62 रन बनाकर हरभजन सिंह की गेंद पर भुवनेश्वर को कैच दे बैठे। उन्होंने अपनी पारी में आठ चौके लगाए।

क्लार्क और वेड के बीच 145 रनों की महत्वपूर्ण साझेदारी हुई। वेड के पवेलियन लौटने के बाद कोई भी ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज जमकर नहीं खेल सका। मोएसिस हेनरिक्स पांच रन बनाकर जडेजा की गेंद पर बोल्ड हो गए।

अपना पहला टेस्ट मैच खेले रहे ग्लेन मैक्सवेल 13 रन बनाकर जडेजा का दूसरा शिकार बने। क्लार्क की शानदार पारी का अंत भी जडेजा ने ही किया। उन्होंने अपनी पारी में नौ चौके और एक छक्का लगाया। पीटर सिडल अपना खाता भी नहीं खोल सके और हरभजन की गेंद पर पगबाधा आउट हो गए। जेम्स पैटिनसन एक और जेवियर डोर्थी बिना कोई रन बनाए नाबाद लौटे।

क्लार्क ने दिन के पांच ओवर शेष रहते हुए ऑस्ट्रेलियाई पारी को घोषित करने का आश्चर्यजनक फैसला लिया, लेकिन कंगारू गेंदबाज क्लार्क की पहले दिन भारत का विकेट झटकने की इच्छा को पूरा नहीं कर सके।

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भारत के लिए भुवनेश्वर और जडेजा ने तीन-तीन विकेट चटकाए, जबकि हरभजन को दो और अश्विन को एक सफलता मिली।

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