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रेपो रेट में बदलाव न होने से शेयरों में ज़ोरदार उछाल, सेंसेक्स 1400 अंक उछला, निफ्टी 23,000 के पार

बाजार मामूली गिरावट में खुला, लेकिन कुछ ही देर में हरे में चला गया. बाजार में चौतरफा तेजी है.

रेपो रेट में बदलाव न होने से शेयरों में ज़ोरदार उछाल, सेंसेक्स 1400 अंक उछला, निफ्टी 23,000 के पार
मुंबई:

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति की शुक्रवार को समाप्त हुई बैठक के बाद रेपो रेट तथा अन्य प्रमुख ऋण दरों में कोई बदलाव नहीं किए जाने से बाज़ार उत्साहित दिखे, और शुक्रवार को घरेलू सेयर बाजारों में तेजी रही. BSE का संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 12:52 बजे तक 1.87 फ़ीसदी, यानी 1400 से अधिक अंक के उछाल के साथ 76478 पर कारोबार कर रहा था, जबकि NSE का निफ्टी भी 12:54 बजे तक 1.78 फ़ीसदी, यानी 390 अंक उछलकर 23212 प कारोबार कर रहा था.

हालांकि RBI के नीतिगत दरों को लेकर बयान जारी करने से पहले ही घरेलू शेयर बाजारों में तेजी दर्ज की गई थी. शुरुआती कारोबार के दौरान भी सेंसेक्स 328 अंक, यानी 0.44 प्रतिशत चढ़कर 75,402 अंक पर और निफ्टी 97.30 अंक, यानी 0.43 प्रतिशत की तेजी के साथ 22,918 अंक पर पहुंच गया था.

शुक्रवार को बाजार मामूली गिरावट में खुला था, लेकिन कुछ ही देर में हरे में चला गया. बाजार में चौतरफा तेजी है. निफ्टी मिडकैप 100 सूचकांक 0.73 प्रतिशत की बढ़त के साथ 5,296 अंक और निफ्टी स्मॉलकैप 100 सूचकांक 1.36 प्रतिशत की बढ़त के साथ 17,055 अंक पर है.

सभी सेक्टरों में तेजी के साथ कारोबार हो रहा है. आईटी, फिन सर्विस, रियल्टी, मेटल और फार्मा इंडेक्स टॉप गेनर हैं. इंडिया विक्स एक प्रतिशत की मामूली बढ़त के साथ 16.96 अंक पर था.

सेंसेक्स में विप्रो, टेक महिंद्रा, इन्फोसिस, टीसीएस, बजाज फाइनेंस और बजाज फिनसर्व टॉप गेनर्स हैं. एलएंडटी, इंडसइंड बैंक, एचयूएल, आईटीसी और कोटक महिंद्रा बैंक टॉप लूजर्स हैं.

एशिया के ज्यादातर बाजारों में लाल निशान में कारोबार हो रहा है. बैंकॉक, टोक्यो, हांगकांग, शंघाई और जकार्ता फिसलकर कारोबार कर रहे हैं. केवल सियोल के बाजार ही हरे निशान में हैं. अमेरिकी बाजार गुरुवार को मिले-जुले बंद हुए थे.

कच्चा तेल सपाट बना हुआ है. ब्रेंट क्रूड 80 डॉलर प्रति बैरल और डब्ल्यूटीआई क्रूड 75 डॉलर प्रति बैरल पर है.

बाजार के जानकारों का कहना है कि विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) की ओर से पिछले तीन दिनों में 24,960 करोड़ रुपये की बिकवाली की गई है. वित्तीय शेयरों में एफआईआई की ज्यादा होल्डिंग है. इसके कारण ये शेयर अंडरपरफॉर्म कर सकते हैं. ऐसे में छोटी अवधि में बाजार पर इसका असर देखने को मिल सकता है. लंबी अवधि में बाजार में तेजी रहेगी.

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