NASA के वैज्ञानिकों का कहना है कि 100 साल बाद सूर्य ग्रहण का ऐसा संयोग बना है.
नई दिल्ली:
वैज्ञानिकों का दावा है कि 100 साल बाद सोमवार को (21 अगस्त) सूर्य ग्रहण (Eclipse) का यह खास संयोग देखने को मिलेगा. इस खगोलीय घटना को लेकर दुनिया भर के वैज्ञानिकों के साथ आम लोग भी उत्साहित हैं. वे इस सूर्य ग्रहण का दीदार करने के लिए बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं. अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा (NASA) ने भी इस सूर्य ग्रहण (Eclipse2017) को खास बताया है. जारी बयान में कहा गया है कि 1918 के बाद पहली बार 100 साल बाद ऐसा अवसर आया है जब यह सूर्य ग्रहण पूरे अमेरिकी महाद्वीप में पूर्ण दिखाई देगा. इस दिन अमावस्या भी रहेगी. इस सूर्य ग्रहण से दुनिया को रूबरू कराने के लिए NASA ने इस बार खास इंतजाम किए हैं. नासा में एक्सपर्ट की टीम बिठाई गई है, जो सूर्य ग्रहण के दौरान उसकी डिटेल जानकारी लोगों को बताएंगे.
इसी के साथ NASA ने खुद से सूर्य ग्रहण का दीदार करने वालों के लिए कुछ एहतियात भी सुझाए हैं. सूर्य को देखने के दौरान लोगों की आंखों को कोई नुकसान न पहुंचे इसका ख्याल रखते हुए एक अपने आधिकारिक ट्विटर पेज पर एक वीडिया शेयर किया है. इस वीडियो में वे सारे एहतियात बताए गए हैं जो सूर्य ग्रहण देखने के दौरान अपनाना चाहिए.
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खासतौर से समझाने की कोशिश की गई है कि सूर्य ग्रहण को नंगी आंखों से नहीं देखना चाहिए. इससे आंखों को नुकसान पहुंच सकता है. बताया गया है कि सूर्य ग्रहण हमेशा अल्ट्रावायलेट किरण को रोकने वाले खास किस्म के चश्मे को लगाकर ही सूर्य ग्रहण को देखना चाहिए. बताने की कोशिश कि गई है कि इस खास किस्म के चश्मे के जरिए आप सूर्य ग्रहण को सही और सटीक तरीके से बिना आंखों को नुकसान पहुंचाए देख सकते हैं.
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मालूम हो कि साल 2017 के इस दूसरे सूर्य ग्रहण की अवधि 5 घंटे 18 मिनट रहेगी. भारतीय समयानुसार रात 10:16 से मंगलवार 22.08.17 रात 02:34 के मध्य भूगोल पर दिखाई देगा.
वीडियो: 68 साल बाद दिखा सुपरमून
यह ग्रहण यूरोप, उत्तर/पूर्व एशिया, उत्तर/पश्चिम अफ्रीका, उत्तरी अमेरिका में पश्चिम, दक्षिण अमेरिका, प्रशांत, अटलांटिक, आर्कटिक की ज्यादातर हिस्सों में दिखेगा. 99 सालों बाद अमेरिकी महाद्वीप में पूर्ण सूर्यग्रहण होगा. उत्तरी अमेरिका के सभी हिस्से में आंशिक सूर्यग्रहण देखा जा सकेगा. इससे पहले साल का पहला सूर्यग्रहण 26 फरवरी को लगा था और इससे दो सप्ताह पहले यानि 7 अगस्त को रक्षाबंधन वाले दिन खंडग्रास चंद्रग्रहण था.
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— NASA (@NASA) August 19, 2017
इसी के साथ NASA ने खुद से सूर्य ग्रहण का दीदार करने वालों के लिए कुछ एहतियात भी सुझाए हैं. सूर्य को देखने के दौरान लोगों की आंखों को कोई नुकसान न पहुंचे इसका ख्याल रखते हुए एक अपने आधिकारिक ट्विटर पेज पर एक वीडिया शेयर किया है. इस वीडियो में वे सारे एहतियात बताए गए हैं जो सूर्य ग्रहण देखने के दौरान अपनाना चाहिए.
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खासतौर से समझाने की कोशिश की गई है कि सूर्य ग्रहण को नंगी आंखों से नहीं देखना चाहिए. इससे आंखों को नुकसान पहुंच सकता है. बताया गया है कि सूर्य ग्रहण हमेशा अल्ट्रावायलेट किरण को रोकने वाले खास किस्म के चश्मे को लगाकर ही सूर्य ग्रहण को देखना चाहिए. बताने की कोशिश कि गई है कि इस खास किस्म के चश्मे के जरिए आप सूर्य ग्रहण को सही और सटीक तरीके से बिना आंखों को नुकसान पहुंचाए देख सकते हैं.
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मालूम हो कि साल 2017 के इस दूसरे सूर्य ग्रहण की अवधि 5 घंटे 18 मिनट रहेगी. भारतीय समयानुसार रात 10:16 से मंगलवार 22.08.17 रात 02:34 के मध्य भूगोल पर दिखाई देगा.
वीडियो: 68 साल बाद दिखा सुपरमून
यह ग्रहण यूरोप, उत्तर/पूर्व एशिया, उत्तर/पश्चिम अफ्रीका, उत्तरी अमेरिका में पश्चिम, दक्षिण अमेरिका, प्रशांत, अटलांटिक, आर्कटिक की ज्यादातर हिस्सों में दिखेगा. 99 सालों बाद अमेरिकी महाद्वीप में पूर्ण सूर्यग्रहण होगा. उत्तरी अमेरिका के सभी हिस्से में आंशिक सूर्यग्रहण देखा जा सकेगा. इससे पहले साल का पहला सूर्यग्रहण 26 फरवरी को लगा था और इससे दो सप्ताह पहले यानि 7 अगस्त को रक्षाबंधन वाले दिन खंडग्रास चंद्रग्रहण था.
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