इस्लामाबाद:
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री युसुफ रजा गिलानी ने बृहस्पतिवार को उन मंत्रियों को चुप रहने को कहा है जो अमेरिकी उच्चायोग के गिरफ्तार अधिकारी के मामले में टिप्पणियां कर रहे हैं। इस अधिकारी पर दो लोगों को गोली मार कर हत्या करने का आरोप है। गिलानी ने संघीय मंत्रियों को निर्देश दिया कि वे इस मुद्दे पर टिप्पणियां नहीं करें। उन्होंने कहा कि जरूरत पड़ने पर अधिकृत मंत्रियों को ही इस मामले पर टिप्पणी करना चाहिए। प्रधानमंत्री का यह निर्देश उनके नए मंत्रिमंडल की पहली बैठक में सामने आया। इससे एक दिन पहले ही पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद ने यह दावा कर हंगामा खड़ा कर दिया था कि अधिकारी रेमंड डेविस को वह राजनयिक छूट हासिल नहीं है जिसकी अमेरिका मांग कर रहा है। गिलानी ने पिछले सप्ताह मंत्रियों के शपथ ग्रहण कार्यक्रम में अपने भाषण में इस मुद्दे का संक्षिप्त जिक्र करते हुए कहा था कि अमेरिकी अधिकारी लाहौर में दो लोगों की हत्या के मामले में शामिल है। गिलानी ने कहा था, मैं सिर्फ इतना ही कहूंगा कि यह मामला अदालत में विचाराधीन है और जरूरत पड़ने पर केवल अधिकृत मंत्रियों को ही इस संबंध में कोई टिप्पणी करनी चाहिए। खबरों में कहा गया है कि कुरैशी को विदेश मंत्रालय का कार्य भार इसलिए दोबारा नहीं दिया गया क्योंकि उन्होंने सत्ताधारी पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी द्वारा डेविस को छूट दिये जाने की पहल को नामंजूर कर दिया था। डेविस ने दो सशस्त्र लोगों को गोली मार दी थी जिसके बाद उसे 27 जनवरी को गिरफ्तार कर लिया गया था। डेविस का कहना है कि वे दोनों उसे लूटने का प्रयास कर रहे थे। गिलानी ने इस मुद्दे पर सार्वजनिक टिप्पणी करने को लेकर कुरैशी की आलोचना भी की थी।