इस्लामाबाद:
पाकिस्तान ने ऐलान किया कि अगले महीने होने वाली राष्ट्रमंडल संसदीय संघ (सीपीयू) के सम्मेलन में जम्मू कश्मीर विधानसभा के अध्यक्ष को नहीं बुलाने को लेकर भारत के साथ विवाद के बीच वह सम्मेलन की मेजबानी नहीं करेगा।
भारत ने जम्मू कश्मीर के विधानसभा अध्यक्ष कवींद्र गुप्ता को सम्मेलन में बुलाने से पाकिस्तान के इनकार के बाद यहां 30 सितंबर से आठ अक्तूबर तक प्रस्तावित सम्मेलन का बहिष्कार करने की धमकी दी थी।
इस्लामाबाद में आयोजित सम्मेलन में राष्ट्रमंडल के सदस्य देशों के विधानसभा अध्यक्षों और संसद के स्पीकरों को शामिल होना था।
नेशनल असेंबली के स्पीकर अयाज सादिक ने संवाददाताओं से कहा, 'हमने राष्ट्रमंडल के लंदन सचिवालय को स्पष्ट बता दिया है कि कश्मीर एक विवादित क्षेत्र है और अब पाकिस्तान में राष्ट्रमंडल सम्मेलन का आयोजन नामुमकिन है।' उन्होंने कहा कि अब न्यूयॉर्क में यह आयोजन होगा।
सादिक ने कहा, 'कश्मीर विवाद को लेकर सीपीए के देशों को एक विस्तृत पत्र लिखा जाएगा और राष्ट्रमंडल के हर फोरम पर कश्मीर मुद्दा उठाया जाएगा।' उन्होंने कहा कि कश्मीर मुद्दे की किसी भी कीमत पर अनदेखी नहीं की जा सकती और वहां के विधानसभा अध्यक्ष को आमंत्रित नहीं किया जाएगा।
सादिक ने कहा, 'पाकिस्तान में सम्मेलन कराने का फैसला इस आधार पर लिया गया था कि कश्मीर विधानसभा के अध्यक्ष को सम्मेलन में आमंत्रित नहीं किया जाएगा।' भारत ने बैठक का बहिष्कार करने की चेतावनी दी थी और लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने कहा था, 'सभी राज्यों के विधानसभा अध्यक्षों की बैठक में सर्वसम्मति से यह फैसला हुआ कि अगर जम्मू कश्मीर के विधानसभा अध्यक्ष को आमंत्रित नहीं किया जाता तो सीपीयू की बैठक का भारत बहिष्कार करेगा।'
भारत ने जम्मू कश्मीर के विधानसभा अध्यक्ष कवींद्र गुप्ता को सम्मेलन में बुलाने से पाकिस्तान के इनकार के बाद यहां 30 सितंबर से आठ अक्तूबर तक प्रस्तावित सम्मेलन का बहिष्कार करने की धमकी दी थी।
इस्लामाबाद में आयोजित सम्मेलन में राष्ट्रमंडल के सदस्य देशों के विधानसभा अध्यक्षों और संसद के स्पीकरों को शामिल होना था।
नेशनल असेंबली के स्पीकर अयाज सादिक ने संवाददाताओं से कहा, 'हमने राष्ट्रमंडल के लंदन सचिवालय को स्पष्ट बता दिया है कि कश्मीर एक विवादित क्षेत्र है और अब पाकिस्तान में राष्ट्रमंडल सम्मेलन का आयोजन नामुमकिन है।' उन्होंने कहा कि अब न्यूयॉर्क में यह आयोजन होगा।
सादिक ने कहा, 'कश्मीर विवाद को लेकर सीपीए के देशों को एक विस्तृत पत्र लिखा जाएगा और राष्ट्रमंडल के हर फोरम पर कश्मीर मुद्दा उठाया जाएगा।' उन्होंने कहा कि कश्मीर मुद्दे की किसी भी कीमत पर अनदेखी नहीं की जा सकती और वहां के विधानसभा अध्यक्ष को आमंत्रित नहीं किया जाएगा।
सादिक ने कहा, 'पाकिस्तान में सम्मेलन कराने का फैसला इस आधार पर लिया गया था कि कश्मीर विधानसभा के अध्यक्ष को सम्मेलन में आमंत्रित नहीं किया जाएगा।' भारत ने बैठक का बहिष्कार करने की चेतावनी दी थी और लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने कहा था, 'सभी राज्यों के विधानसभा अध्यक्षों की बैठक में सर्वसम्मति से यह फैसला हुआ कि अगर जम्मू कश्मीर के विधानसभा अध्यक्ष को आमंत्रित नहीं किया जाता तो सीपीयू की बैठक का भारत बहिष्कार करेगा।'
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