बीते 28 सालों में पहली बार एक भारतीय प्रधानमंत्री के लिए ऑस्ट्रेलिया में कुछ खास होने जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ऑस्ट्रेलिया यात्रा के दौरान 'मोदी एक्सप्रेस' नामक एक विशेष ट्रेन चलाई जाएगी, जिसमें 'मोदी ढोकला' और 'मोदी फाफड़ा' मिलेंगे। 'मोदी एक्सप्रेस' नामक यह ट्रेन ऑस्ट्रेलिया प्रवास के दौरान उनका भाषण सुनने के इच्छुक 200 से अधिक यात्रियों को लेकर मेलबर्न से सिडनी जाएगी।
रविवार को, चार बोगियों वाली 'मोदी एक्सप्रेस' करीब 220 यात्रियों को मेलबर्न से सिडनी लेकर जाएगी, जो अगले दिन प्रधानमंत्री मोदी द्वारा भारतीय मूल के ऑस्ट्रेलियाई लोगों के लिए सिडनी में दिए जाने वाले भाषण को सुनने जाएंगे। किसी भारतीय प्रधानमंत्री का यह पहला सार्वजनिक संबोधन होगा।
'मोदी एक्सप्रेस' की व्यवस्था 'ओवरसीज़ फ्रेंड्स ऑफ बीजेपी' (ओएफबीजेपी) ने की है और अपने नेता के सम्मान में तथा प्रधानमंत्री के तौर पर उनकी पहली आधिकारिक ऑस्ट्रेलिया यात्रा का जश्न मनाने के लिए उन्होंने ट्रेन का नाम 'मोदी एक्सप्रेस' रखा है।
ओएफबीजेपी के मेलबर्न चैप्टर के प्रवक्ता अश्विन बोरा ने बताया ''यह 'मोदी एक्सप्रेस' सभी यात्रियों के लिए है... विभिन्न समुदायों, यहां तक कि स्थानीय लोगों ने भी इस ट्रेन में अपनी सीटें आरक्षित कराई हैं..."
यहां के रेल प्राधिकारियों के सहयोग से 'मोदी एक्सप्रेस' को तिरंगे गुब्बारों से, मोदी के पोस्टरों, बैनरों और भारत के महत्वपूर्ण स्थानों की तस्वीरों से विशेष रूप से सजाया जाएगा। किसी भारतीय प्रधानमंत्री की 28 साल बाद यह पहली ऑस्ट्रेलिया यात्रा होगी।
इसके अलावा, आयोजकों ने यात्रियों के लिए मुफ्त भोजन की व्यवस्था भी की है, जिसके तहत उन्हें 'मोदी ढोकला' और 'मोदी फाफड़ा' जैसी खाद्य सामग्रियां परोसी जाएंगी। बोरा ने कहा कि 'मोदी एक्सप्रेस' से यात्रा एक अलग ही अनुभव होगा, क्योंकि इसमें यात्रियों के मनोरंजन के लिए संगीत और नृत्यदल भी होंगे।
'मोदी एक्सप्रेस' की एक भावी यात्री अंजलि टिक्कू ने बताया, ''भारतीय राजनीति के इतिहास में यह अप्रत्याशित अवसर है... पहली बार पूरी दुनिया में भारतीय प्रधानमंत्री को इतनी व्यापक प्रतिक्रिया मिल रही है, जैसी किसी रॉकस्टार को मिलती है... लोग उन्हें देखने के लिए उमड़ पड़ते हैं और मैं कोई अपवाद नहीं हूं... मैं इस विशेष 'मोदी एक्सप्रेस' से यात्रा का हिस्सा बनने का इंतजार कर रही हूं...''
नरेंद्र मोदी 15 नवंबर को जी-20 सम्मेलन के लिए ब्रिस्बेन जाएंगे। समझा जाता है कि वह 17 नवंबर को एक सार्वजनिक सभा करेंगे, जिसके लिए 1,50,000 से अधिक लोग पहले ही पंजीकरण करा चुके हैं।
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