
भारतीय मछुआरों की हत्या के आरोपी दो मरीन को लेकर पैदा हुए राजनयिक विवाद की पृष्ठभूमि में इटली ने कहा है कि इस मामले में अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता की मांग करने में कानूनी आधार पर उसका पक्ष बेहद मजबूत है।
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इतालवी विदेशमंत्री गिउलियो तेरजी ने गुरुवार को संवाददाताओं से कहा, ‘‘न्यायिक रूप से हमारे पास अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता की ओर बढ़ने की ठोस वजहे हैं।’’ वह यहां इस्राइली शहर हर्जीलिया में एक थिंक टैंक की ओर से आयोजित सम्मेलन में हिस्सा लेने पहुंचे हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘हमारी वजहों के बारे में भारत को जो कुछ भी जानने की जरूरत थी उसे हमारे दूसरे बहुत सारे साझेदारों की तरह बता दिया गया है।’’
बीते सोमवार को उस वक्त भारत और इटली के संबंधों में खासी तल्खी आ गई जब इतालवी सरकार ने कहा कि भारतीय मछुआरों की हत्या के आरोपी दो मरीन सल्वातोरे लातोरे और मैसीमिलियानो गिरोने अब भारत नहीं लौटेंगे।
इन दोनों को भारत के उच्चतम न्यायालय ने फरवरी महीने में अपने देश के आम चुनाव में मतदान के लिए इटली जाने की इजाजत दी थी। इस पूरे मामले को लेकर दोनों देशों के बीच राजनयिक संकट पैदा हो गया है।
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कल कहा था कि इटली का यह कदम पूरी तरह अस्वीकार्य है और सरकार दोनों मरीन को वापस लाने के लिए राजनयिक माध्यमों का सहारा लेगी। कड़ा रुख अख्तियार करते हुए प्रधानमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि इटली राजनयिक विमर्श के हर नियम का उल्लंघन कर रहा है।
उन्होंने इतालवी सरकार से कहा है कि वह भारतीय मछुआरों की हत्या के आरोपी दोनों मरीन को भारत वापस भेजे।
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