अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन (US Secretary of State Antony Blinken) ने टोलो न्यूज को दिए एक साक्षात्कार में कहा कि अशरफ गनी (Ashraf Ghani) ने कहा कि वह अफगानिस्तान (Afghanistan) से भागने से एक रात पहले "मौत से लड़ने के लिए तैयार थे". पूर्व अफगान राष्ट्रपति गनी को अफगानिस्तान पर तालिबान (Taliban) के कब्जे के बाद देश छोड़कर संयुक्त अरब अमीरात भागना पड़ा था. अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन से टोलो पत्रकार लोतफुल्ला नजफिजादा ने पूछा: "क्या आपने राष्ट्रपति गनी को देश से भागने में मदद की?"
समाचार आउटलेट ने एक ट्वीट में उनके जवाब का वीडियो साझा किया है.
ब्लिंकन ने कहा, "उन्होंने (गनी) भागने से एक रात पहले कहा था कि, वह मौत से लड़ने के लिए तैयार थे."
Lotfullah Najafizada: "Did you help President Ghani flee the country?"
— TOLOnews (@TOLOnews) September 8, 2021
Blinken: Ghani said night before fleeing "he was prepared to fight to the death."
Watch the exclusive interview with US Secretary Antony Blinken tonight at 8pm (#Afghanistan time) on TOLOnews#TOLOnews pic.twitter.com/aXh1KlPPTu
बता दें कि गनी ने आज अफगानिस्तान के लोगों से उनके देश छोड़ने पर माफी मांगते हुए एक बयान दिया और कहा कि उन्होंने सुरक्षा सलाह पर यह कदम उठाया. उन्होंने लिखा, "तालिबान के अप्रत्याशित रूप से शहर में प्रवेश करने के बाद 15 अगस्त को अचानक काबुल छोड़ने के लिए मैं अफगान लोगों के लिए एक स्पष्टीकरण देना चाहता हूं," उन्होंने कहा, उन्हें चेतावनी दी गई थी कि अगर वह रुके, तो यह जोखिम भरा फैसला होगा. काबुल को 1990 के गृह युद्ध जैसी परिस्थितियों का सामना करना पड़ेगा.
उन्होंने काबुल छोड़ने को अपने जीवन का सबसे कठिन निर्णय बताया, लेकिन इस बात पर जोर दिया कि हिंसा को दबाने और काबुल व देश के नागरिकों को बचाने का यही एकमात्र तरीका था. उन्होंने इन आरोपों से भी इनकार किया कि वह अपने साथ लाखों डॉलर ले गए थे.
गनी ने अपने बयान में कहा, "यह गहरे अफसोस के साथ है कि मेरा अपना अध्याय स्थिरता और समृद्धि सुनिश्चित किए बिना मेरे पूर्ववर्तियों के समान त्रासदी में समाप्त हुआ. मैं अफगान लोगों से माफी मांगता हूं कि मैं इसे अलग तरीके से समाप्त नहीं कर सका."
अमेरिका ने कहा कि वह तालिबान सरकार से "चिंतित" है, लेकिन वह अपने कार्यों से इसका आकलन करेगा.
समाचार एजेंसी एएफपी के अनुसार, मिस्टर ब्लिंकन, यूरोपीय सहयोगियों सहित 20 अन्य देशों के साथ आभासी बातचीत में, तालिबान पर अपने वादों को पूरा करने के लिए अंतरराष्ट्रीय दबाव बनाने की कोशिश कर सकते हैं.
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