बीसीसीआई आईसीसी वार्षिक बैठक में विवादास्पद डीआरएस के संशोधित स्वरूप को सभी अंतरराष्ट्रीय मैचों में अनिवार्य रूप से लागू करने पर सहमत हो गया है।
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नई दिल्ली:
भारतीय क्रिकेट बोर्ड ने क्रिकेट में टेक्नोलोजी के इस्तेमाल पर अपना कड़ा रवैया आखिर सोमवार को छोड़ दिया। बीसीसीआई आईसीसी वार्षिक बैठक में विवादस्पद निर्णय समीक्षा प्रणाली (डीआरएस) के संशोधित स्वरूप को सभी अंतरराष्ट्रीय मैचों में अनिवार्य रूप से लागू करने पर सहमत हो गया है। संशोधित स्वरूप में में हाट स्पाट टेक्नोलोजी तो होगी लेकिन इसमें हाक आई नहीं होगी जिससे गेंद की दिशा का पता चलता है। इसका मतलब है कि डीआरएस में एलबीडब्ल्यू के फैसले शामिल नहीं होंगे। डीआरएस के अनिवार्य नियम और शर्तों में अब थर्मल इमेजिंग और साउंड टेक्नोलोजी शामिल होगी। पहले गेंद की दिशा पता करने के लिये उपयोग में लाया जाने वाला बाल ट्रैकर भी इसमें शामिल था लेकिन इसे हटाने पर सहमति बन गई है। डीआरएस के नये स्वरूप को आईसीसी के मुख्य कार्यकारियों की समिति ने कार्यकारी बोर्ड के पास मंजूरी के लिये भेज दिया है जो मंगलवार को इस पर अंतिम मुहर लगाएगा। हाट स्पाट, जो कि एक थर्मल इमेजिंग टेक्नोलोजी है, अब क्रिकेट मैचों में उपलब्ध रहेगी और उसे डीआरएस में अनिवार्य बना दिया गया है। इनका उपयोग मुख्य रूप से करीबी कैच और बल्ले का किनारा लेकर जाने वाली गेंद के लिए किया जाता है। इसका मतलब है कि 2008 के बाद पहली बार भारत द्विपक्षीय श्रृंखला में फिर से डीआरएस के उपयोग करने पर सहमत हुआ है। इस तरह से भारत के इंग्लैंड दौरे में इसका उपयोग किया जाएगा। हालांकि इस श्रृंखला में यह हाक आई बाल ट्रैकर के बिना उपयोग किया जाएगा जिसका मतलब है कि इसमें एलबीडब्ल्यू के फैसले शामिल नहीं होंगे।बोर्ड ने बयान में कहा, बीसीसीआई निर्णय लेने की प्रणाली में टेक्नोलोजी को शामिल करने पर सहमत हो गया है। इसमें इंफ्रा रेड कैमरे और आडियो ट्रैकिंग उपकरण शामिल हैं। बयान के अनुसार, बीसीसीआई हमेशा खेल की भलाई के लिये टेक्नालोजी को अपनाने की इच्छा जाहिर करता रहा है। हालांकि वर्तमान की बाल ट्रैकिंग टेक्नोलोजी, जिस पर कि डीआरएस आधारित है, बोर्ड को स्वीकार्य नहीं है। भारतीय क्रिकेट बोर्ड शुरू से ही डीआरएस का विरोध करता रहा है। उसका मानना है कि यह शत प्रतिशत सही नहीं है। सीनियर बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर ने भी कहा कि यदि डीआरएस में हाट स्पाट टेक्नोलोजी को शामिल किया जाता है तो यह अधिक स्वीकार्य होगा।