आप की पंजाब इकाई का आरोप है कि राज्य सरकार किसानों का उत्पीड़न कर रही है (फाइल फोटो)
चंडीगढ़:
धान की कटाई के बाद खेतों में खड़े धान के भूसे को आग लगाकर खत्म किया जाता है. धान की पराली जलाने पर सरकार ने रोक लगाई हुई है. ऐसे में पराली जलाने वाले किसानों पर प्रशासन द्वारा कड़ी कार्रवाई भी की जा रही है. आम आदमी पार्टी ने पराली जलाने के नाम पर सरकार द्वारा किसानों के कथित अनुचित उत्पीड़न के खिलाफ राज्य के प्रत्येक जिले में उपायुक्तों को ज्ञापन सौंपे.
पढ़ें: धान की पराली जलाने के सिवाए किसानों के पास कोई विकल्प नहीं
आप प्रदेश अध्यक्ष भगवंत मान, सह अध्यक्ष अमन अरोड़ा और पंजाब विधानसभा में विपक्ष के नेता सुखपाल सिंह खैरा ने एक संयुक्त बयान में कहा कि सरकार को किसानों के खिलाफ मामले दर्ज करने की बजाय एनजीटी के निर्देश के अनुरूप पराली जलाने के मामले में अपनी जिम्मेदारियां पूरी करनी चाहिए.
उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार किसानों का उत्पीड़न करके अपनी खाल बचा रही है. आप नेताओं ने कहा कि एनजीटी के आदेश के खंड सी के पैरा 14 में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि कटाई, ढुलाई और पराली का उचित इस्तेमाल राज्य सरकार की प्राथमिक जिम्मेदारी है. ऐसे में जब सरकार ऐसा नहीं कर पाती है तो उसे जमीन के जोत के अनुरूप किसानों को मुआवजे का भुगतान करना होगा.
(इनपुट भाषा से)
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आप प्रदेश अध्यक्ष भगवंत मान, सह अध्यक्ष अमन अरोड़ा और पंजाब विधानसभा में विपक्ष के नेता सुखपाल सिंह खैरा ने एक संयुक्त बयान में कहा कि सरकार को किसानों के खिलाफ मामले दर्ज करने की बजाय एनजीटी के निर्देश के अनुरूप पराली जलाने के मामले में अपनी जिम्मेदारियां पूरी करनी चाहिए.
उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार किसानों का उत्पीड़न करके अपनी खाल बचा रही है. आप नेताओं ने कहा कि एनजीटी के आदेश के खंड सी के पैरा 14 में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि कटाई, ढुलाई और पराली का उचित इस्तेमाल राज्य सरकार की प्राथमिक जिम्मेदारी है. ऐसे में जब सरकार ऐसा नहीं कर पाती है तो उसे जमीन के जोत के अनुरूप किसानों को मुआवजे का भुगतान करना होगा.
(इनपुट भाषा से)
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