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मुंबई के कॉलेज में 'बुर्का बैन' पर बढ़ा बवाल! धरने पर बैठी छात्राएं, AIMIM का भी मिला साथ

अब इस इस विवाद में AIMIM की भी एंट्री हो गई है. AIMIM मुंबई महिला विंग की उपाध्यक्ष और वकील जहानारा शेख मौके पर पहुंचीं और छात्राओं के समर्थन में खड़ी हो गईं. 

मुंबई के कॉलेज में 'बुर्का बैन' पर बढ़ा बवाल! धरने पर बैठी छात्राएं, AIMIM का भी मिला साथ
  • गोरेगांव स्थित विवेक विद्यालय और जूनियर कॉलेज ने छात्राओं के लिए बुर्का और नकाब पहनने पर प्रतिबंध लगाया है
  • कॉलेज प्रशासन का कहना है कि यह फैसला पिछले साल हुई नकल की घटना के बाद अनुशासन बनाए रखने के लिए लिया गया है
  • छात्राओं ने इस प्रतिबंध को धार्मिक स्वतंत्रता का उल्लंघन बताया और विरोध प्रदर्शन तथा धरना शुरू कर दिया है
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मुंबई:

मुंबई के गोरेगांव का विवेक विद्यालय और जूनियर कॉलेज अपने एक फैसले को लेकर फिलहाल चर्चाओं में बना हुआ है. इस फैसले के तहत कॉलेज ने छात्राओं के लिए ड्रेस कोड तय कर दिया है. कॉलेज प्रशासन ने एक आदेश जारी कर कक्षाओं में बुर्का, नकाब और चेहरे ढकने वाले अन्य परिधानों पर प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है. प्रशासन के इस फैसले का अब जमकर विरोध हो रहा है. छात्राओं ने कॉलेज के इस फैसले के खिलाफ गुरुवार को जमकर विरोध प्रदर्शन किया. साथ ही कई छात्राएं अपनी मांगों को लेकर धरने पर भी बैठ गईं. प्रदर्शनकारी छात्राओं का कहना है कि यह प्रतिबंध मनमाना और धार्मिक स्वतंत्रता का उल्लंघन है.  

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छात्राओं कहा कहना है कि यदि उन्हें पहले पता होता कि कॉलेज इस तरह का कोई नियम भी लागू कर सकता है तो वो यहां एडमिशन भी नहीं लेतीं. वहीं, दूसरी तरफ कॉलेज प्रशासन का दावा है कि यह फैसला पिछले साल हुई एक घटना के बाद लिया गया है,जब बुर्का पहनकर एक महिला नकल करते पकड़ी गई थी. यह प्रतिबंध अनुशासन बनाए रखने और परीक्षाओं में धोखाधड़ी रोकने के लिए एक सख्त उपाय है.कॉलेज ने सर्कुलर में साफ किया है कि हिजाब पहनने की अनुमति है, लेकिन बुर्का या नकाब जैसे पूरे चेहरे को ढकने वाले परिधानों पर रोक है. वहीं,लड़कों के लिए भी धार्मिक प्रतीक वाली टोपी या बैज पहनना प्रतिबंधित है. अब इस इस विवाद में AIMIM की भी एंट्री हो गई है. AIMIM मुंबई महिला विंग की उपाध्यक्ष और वकील जहानारा शेख मौके पर पहुंचीं और छात्राओं के समर्थन में खड़ी हो गईं. 

उन्होंने सवाल उठाया कि जब अन्य छात्र तिलक या कलावा जैसे धार्मिक प्रतीक पहन सकते हैं, तो केवल बुर्का पहनने वाली छात्राओं को क्यों रोका जा रहा है.  AIMIM की वकील जहानआरा शेख ने इस निर्देश को भेदभावपूर्ण बताते हुए प्रिंसिपल और पुलिस को लिखित शिकायत दी है और इसे वापस लेने की मांग की है. छात्राओं ने कॉलेज प्रशासन को चेतावनी दी है कि अगर ये प्रतिबंध तुरंत वापस नहीं लिया गया, तो वे भूख हड़ताल शुरू कर देंगी. विरोध प्रदर्शन और राजनीतिक दखल के चलते कॉलेज प्रशासन पर नियम बदलने का दबाव लगातार बढ़ रहा है. प्रशासन की ओर से कोई नया बयान नहीं आने के कारण स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है और आंदोलन के और उग्र होने की आशंका है.कॉलेज ने सर्कुलर में साफ किया है कि हिजाब पहनने की अनुमति है, लेकिन बुर्का या नकाब जैसे पूरे चेहरे को ढकने वाले परिधानों पर रोक है. 

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