इंदौर के चिड़ियाघर से छह दिन पहले गायब हुआ तेंदुआ मंगलवार की शाम को पकड़ में आ गया. तेंदुए के गायब होने पर वनमंत्री ने नाराज़गी जताई थी. तेंदुए के मिलने पर खूब सुर्खियां बनीं लेकिन सूत्रों के मुताबिक बुरहानपुर से जो तेंदुआ लाया गया था दस्तावेजों में वो मादा है जबकि जो तेंदुआ पकड़ा गया है वो नर है.
इंदौर चिड़ियाघर से 6 दिनों पहले गायब हुआ तेंदुआ मंगलवार शाम पकड़ में आ गया, तेंदुए के गायब होने पर वनमंत्री ने नाराज़गी जताई थी मिलने पर खूब सुर्खियां बनीं लेकिन बुरहानपुर से जो तेंदुआ लाया गया था दस्तावेजों में वो मादा है जबकि जो तेंदुआ पकड़ा गया है वो नर है! @ndtv @ndtvindia pic.twitter.com/jAcgWjdvUH
— Anurag Dwary (@Anurag_Dwary) December 8, 2021
एक दिसंबर की रात में बुरहानपुर जिले के नेपानगर के नावरा के जंगलों से वन विभाग के सात कर्मचारी इस तेंदुए को इंदौर लेकर आए थे. रात में ट्रक को चिड़ियाघर में खड़ा किया लेकिन सुबह ट्रक में रखे पिंजरे में तेंदुआ नहीं मिला.
वन-मंत्री चिड़ियाघर पहुंचे, अफसरों पर नाराज़ हुए, 200 कर्मचारियों की टीम तैनात हुई, ढोल बुलवाए गए, सीसीटीवी खंगाले गए 52 एकड़ में उसे 6 दिनों तक ढूंढा गया. शहर में जू के आसपास नौ कॉलोनियों में सनसनी थी, एहतियातन चिड़ियाघर को बंद कर दिया गया.
छह दिन बाद चिड़ियाघर से लगभग दो किलोमीटर दूर तेंदुआ वन विभाग के गेस्ट हाउस के करीब मिला. वहां टीन शेड के पीछे छिपे तेंदुए को पकड़ने चारों तरफ से जाल लगाया. तेंदुए की तबीयत खराब थी लिहाज़ा फैसला हुआ कि उसे बेहोश नहीं करेंगे. पांच कर्मचारियों ने उस पर जाल डाला और उसे पकड़ा गया.
इंदौर के मुख्य वन संरक्षक एचएस मोहंता के मुताबिक तेंदुए ने रिहाइशी इलाके में रात में घुसने का प्रयास किया, जब उसे हमने देख लिया तो सारी टीम बुलाई गई और उसको पकड़ लिया. तेंदुए की तबीयत के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा 12-15 दिन तक वह भूखे रह जाते हैं ऐसे में मांसपेशी कमजोर हुई है पर जान पर खतरा नहीं है.
लेकिन कहानी खत्म नहीं हुई. दस्तावेजों के मुताबिक जो तेंदुआ एक दिसंबर को बुरहानपुर से लाया गया वह मादा था लेकिन मंत्री जी की फटकार के छह दिन बाद जो पकड़ा गया वो नर है. इस पहेली ने चिड़ियाघर को भी उलझा दिया है.
इंदौर चिड़ियाघर के इंचार्ज डॉ उत्तम यादव ने कहा हमने जो देखा वो मेल है, वहां उन्होंने (वन-विभाग) ने क्या देखा, कैसे देखा वही बता पाएंगे. दस्तावेज ज़रूर फीमेल का शो कर रहा है, शो कर रहा है तो किस चीज का देखकर (वन-विभाग) ने फीमेल बताया वो वहीं बता पाएंगे हमने एक्जामिन किया है वो मेल है.
वन-मंत्री चिड़ियाघर पहुंचे, अफसरों पर नाराज़ हुए, 200 कर्मचारियों की टीम तैनात हुई, ढोल बुलवाए गए, सीसीटीवी खंगाले गये 52 एकड़ में उसे 6 दिनों तक ढूंढा गया.चिड़ियाघर को बंद कर दिया गया. 6 दिन बाद चिड़ियाघर से लगभग 2 किलोमीटर दूर तेंदुआ वन विभाग के के गेस्ट हाउस के करीब मिला. pic.twitter.com/ryVE3EY076
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तेंदुआ बीमार है, उसके पीछे के दोनों पैरों की ताकत खत्म हो गई है. लेकिन गायब होने और पकड़े जाने के इस रहस्य के सारे पेंच अभी भी उलझे हैं. वनमंत्री के तेवरों से तय हो गया था कि जिम्मेदारों पर कार्रवाई होगी, गुस्से के 48 घंटे में ही तेंदुआ पकड़ा गया. अब ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि क्या सिर्फ कागज़ी गफलत है और अगर ऐसा नहीं है तो फिर जो मादा तेंदुआ गायब है. वो कहां हैं, जो नर तेंदुआ मिला है वो कौन है?