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This Article is From Jan 20, 2018

तीन खूंखार अपराधियों से अकेले लोहा लेने वाली लक्ष्मी यादव को मिलेगा वीरता पुरस्कार

छत्तीसगढ़ की रहने वाली लक्ष्मी यादव को उनकी बहादुरी के लिए वीरता पुरस्कार से नवाजा जाएगा

तीन खूंखार अपराधियों से अकेले लोहा लेने वाली लक्ष्मी यादव को मिलेगा वीरता पुरस्कार
रायपुर: छत्तीसगढ़ की रहने वाली लक्ष्मी यादव को उनकी बहादुरी के लिए वीरता पुरस्कार से नवाजा जाएगा. तीन बदमाशों से घिरे होने के बाद भी लक्ष्मी यादव अपनी साहस और सूझबूझ से खुद को बचाने में कामयाब रहीं. इतना ही नहीं लक्ष्मी उन बदमाशों को पकड़वाने में भी कामयाब हुई थी. उनकी उम्र महज 16 साल की है. बात 2 अगस्त 2016 की शाम आठ बजे, लक्ष्मी यादव और उसके एक मित्र ने गणेश नगर मार्ग पर अपनी मोटर साइकिल खड़ी की और बातचीत करने लगे. उसी समय एक अपराधी अपने दो दोस्तों के साथ वहां पहुंचा. उन दोनों के साथ गाली-गलौच और मारपीट करते हुए उन्होंने उनकी मोटर साइकिल की चाबी छीन ली. उनमें से एक ने जबरन लक्ष्मी को खींचते हुए बाइक पर बैठाया और वे तीनों उसे अगवा कर यौन शोषण के अभिप्राय से एक सुनसान जगह पर ले गए.

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इस तनावपूर्ण स्थित में भी, लक्ष्मी ने खुद का मानसिक और भावनात्मक संतुलन बनाए रखा. उसके साहस ने उसे खतरे का सामना करने के लिए सक्षम बनाया. वह किसी तरह बदमाशों की बाइक की चाबी निकालने में सफल रही. उसने चाबी को कहीं छुपा दिया. जब बदमाशों ने लक्ष्मी को पकड़ने का प्रयास किया, तब उसने साहस दिखाते हुए उन्हें धक्का दे दिया और वहां से बचकर सीधे पुलिस चौकी पहुंचे और घटना की सूचना दी.

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लक्ष्मी यादवने  निडरता और पराक्रम से बुराई का डटकर मुकाबला किया. इस तरह से लक्ष्मी ने इन तीनों कट्टर अपराधियों को पकड़वाने में मदद की.

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