जयपुर के सवाई मानसिंह स्टेडियम की फाइल फोटो
नई दिल्ली:
सुप्रीम कोर्ट ने महाराष्ट्र में आईपीएल के मैच न कराए जाने के बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले को बरकरार रखते हुए बीसीसीआई को बड़ा झटका दिया है। बीसीसीआई को अब महाराष्ट्र में होने वाले 1 मई के बाद बाकी बचे सभी 12 मैच राज्य से बाहर करवाने होंगे। लेकिन परेशानी महज इतनी ही नहीं है। जहां आईपीएल मैच शिफ्ट किए जाने की बातें हैं, वहां पर भी आईपीएल के खिलाफ पीआईएल डाली जा चुकी है। अब सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद जयपुर, हैदराबाद, जैसे वेन्यू पर भी आईपीएल मैचों पर आशंका के बादल छा सकते हैं।
जाहिर है कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद नजरें राजस्थान हाईकोर्ट पर थी, जिसने बीसीसीआई और राजस्थान क्रिकेट एसोसिएशन समेत राज्य सरकार को बुधवार तक का समय ये कारण बताने के लिए दिया था कि आखिर आईपीएल के मैच जयपुर में क्यों करवाए जाएं।
राजस्थान को 5 मई से आईपीएल के तीन मैचों की मेजबानी करनी है, लेकिन हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से राज्य में पानी के हालात पर एक व्यापक रिपोर्ट मांगी है। इसमें सरकार पानी की कमी से निपटने के लिए क्या कदम उठा रही है, इस पर जोर देने को कहा गया है। महाराष्ट्र और देश के अलग-अलग हिस्सों की तरह ही राजस्थान में भी सूखे की समस्या है और 13,500 गांवों में यहां पर टैंकरों से पानी पहुंचाया जाता है। आईपीएल के मैचों पर फैसला राज्य सरकार की रिपोर्ट के बाद 3 मई को लिया जाएगा।
पूरे मामले में बीसीसीआई सचिव अनुराग ठाकुर ने कहा है कि अंतिम समय पर वेन्यू बदलना बेहद मुश्किल है। इस पर अभी तक आधिकारिक फैसला नहीं लिया गया है कि मैचों को कहां शिफ्ट किया जाएगा। अनुराग ठाकुर ने कहा, 'मेरे हिसाब से पानी की कमी की एक जांच होनी चाहिए, और इस बात पर ध्यान देना चाहिए कि बीसीसीआई मैचों के लिए पीने का पानी इस्तेमाल नहीं करती है।'
आईपीएल चेयरमैन राजीव शुक्ला ने कहा है कि आईपीएल गवर्निंग काउंसिल की बैठक कुछ ही दिनों में बुलाई जाएगी और सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद आईपीएल को लेकर क्या विकल्प बचते हैं, उन पर गौर किया जाएगा।
गौरतलब है कि कुछ समय पहले अनुराग ठाकुर ने संकेत दिए थे कि अगर ऐसे ही चलता रहा तो अगले सीजन से आईपीएल को देश के बाहर ले जाने पर भी विचार किया जा सकता है, लेकिन ये बात भी भुलाने वाली नहीं है कि 2009 में आईपीएल के दक्षिण अफ्रीका में होने के बाद से ही आईपीएल विवादों में घिर गया था।
जाहिर है कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद नजरें राजस्थान हाईकोर्ट पर थी, जिसने बीसीसीआई और राजस्थान क्रिकेट एसोसिएशन समेत राज्य सरकार को बुधवार तक का समय ये कारण बताने के लिए दिया था कि आखिर आईपीएल के मैच जयपुर में क्यों करवाए जाएं।
राजस्थान को 5 मई से आईपीएल के तीन मैचों की मेजबानी करनी है, लेकिन हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से राज्य में पानी के हालात पर एक व्यापक रिपोर्ट मांगी है। इसमें सरकार पानी की कमी से निपटने के लिए क्या कदम उठा रही है, इस पर जोर देने को कहा गया है। महाराष्ट्र और देश के अलग-अलग हिस्सों की तरह ही राजस्थान में भी सूखे की समस्या है और 13,500 गांवों में यहां पर टैंकरों से पानी पहुंचाया जाता है। आईपीएल के मैचों पर फैसला राज्य सरकार की रिपोर्ट के बाद 3 मई को लिया जाएगा।
पूरे मामले में बीसीसीआई सचिव अनुराग ठाकुर ने कहा है कि अंतिम समय पर वेन्यू बदलना बेहद मुश्किल है। इस पर अभी तक आधिकारिक फैसला नहीं लिया गया है कि मैचों को कहां शिफ्ट किया जाएगा। अनुराग ठाकुर ने कहा, 'मेरे हिसाब से पानी की कमी की एक जांच होनी चाहिए, और इस बात पर ध्यान देना चाहिए कि बीसीसीआई मैचों के लिए पीने का पानी इस्तेमाल नहीं करती है।'
आईपीएल चेयरमैन राजीव शुक्ला ने कहा है कि आईपीएल गवर्निंग काउंसिल की बैठक कुछ ही दिनों में बुलाई जाएगी और सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद आईपीएल को लेकर क्या विकल्प बचते हैं, उन पर गौर किया जाएगा।
गौरतलब है कि कुछ समय पहले अनुराग ठाकुर ने संकेत दिए थे कि अगर ऐसे ही चलता रहा तो अगले सीजन से आईपीएल को देश के बाहर ले जाने पर भी विचार किया जा सकता है, लेकिन ये बात भी भुलाने वाली नहीं है कि 2009 में आईपीएल के दक्षिण अफ्रीका में होने के बाद से ही आईपीएल विवादों में घिर गया था।
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