लोकसभा चुनाव के लिए पक्ष और विपक्ष दोनों ने अपने-अपने पत्ते खोलने शुरू कर दिये हैं. विपक्ष के 26 दलों ने अगले लोकसभा चुनाव के लिए अपनी चुनावी बिसात बिछाने का आगाज करते हुए मंगलवार को ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव एलायंस (INDIA)' नाम से नए गठबंधन की घोषणा की. हालांकि, 2024 में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पराजित करना बेहद मुश्किल होगा. किसी नाम पर सहमति बनाना विपक्ष की 'करने योग्य' कामों की सूची से बाहर हो सकता है, लेकिन अगर वह दो लगातार चुनावी हार के बाद अगले साल के राष्ट्रीय चुनाव में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की भाजपा को हराना चाहता है, तो उसे 'ड्रामेटिक रूप' से अपनी स्ट्राइक को बढ़ाना होगा. साल 2019 के चुनाव डेटा से ये बात पता चलती है.
दो दर्जन से अधिक विपक्षी दलों ने 2024 के संसदीय चुनाव में भाजपा को चुनौती देने के लिए मंगलवार को "INDIA" नाम से एक नया गठबंधन मोर्चा बनाने की घोषणा की. लेकिन उनके ट्रैक रिकॉर्ड से संकेत मिलता है कि अगर वे एक महत्वपूर्ण चुनौती पेश करना चाहते हैं, तो उनको काफी ग्राउंड कवर करना पड़ेगा.
साल 2019 में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दोबारा चुन कर सत्ता में आए, तब बीजेपी और कांग्रेस के स्ट्राइक रेट या विनिंग रेट काफी बड़ा अंतर था. दोनों दलों के बीच सीधे मुकाबले में, भाजपा ने 92.1 प्रतिशत की जबरदस्त स्ट्राइक रेट का दावा किया, जबकि कांग्रेस पार्टी की स्ट्राइक रेट सिर्फ 7.9 प्रतिशत पर सिमट गई थी.
कुल 543 सीटों में से लगभग 190 सीटों पर जहां कांग्रेस और भाजपा के बीच सीधा मुकाबला था, सत्ताधारी पार्टी ने 175 सीटें जीत कर रिकॉर्ड बनाया. वहीं, कांग्रेस के केवल 15 सीटें जीत पाई. 2024 में बीजेपी को कड़ी चुनौती देने के लिए कांग्रेस को इस आंकड़े में काफी सुधार करना होगा.
इस बीच, गैर-कांग्रेसी दलों ने 2019 के चुनावों में भाजपा के उच्च स्ट्राइक रेट 69.2 प्रतिशत के मुकाबले 30.8 प्रतिशत की स्ट्राइक रेट से प्रदर्शन किया था.
हालांकि, विपक्षी गठबंधन को कांग्रेस की ज़रूरत है. यह इस तथ्य से प्रदर्शित होता है कि गैर-भाजपा दलों का सामना करते समय, सबसे पुरानी पार्टी ने गैर-भाजपा दलों के 47.9 प्रतिशत की तुलना में 52.1 प्रतिशत की स्ट्राइक रेट के साथ काफी बेहतर प्रदर्शन किया.
यदि विपक्ष 2024 के चुनाव में सार्थक प्रभाव डालना चाहता है, तो उसे भाजपा के खिलाफ अपनी स्ट्राइक रेट को 50 प्रतिशत से अधिक बढ़ाने की आवश्यकता होगी.
भाजपा के खिलाफ एकजुट होने की विपक्ष की योजना बेहद चुनौतियों भरी है. पीएम मोदी ने गठबंधन के सदस्यों की "अवसरवादी" और "भ्रष्ट" नेताओं के रूप में आलोचना की है, जो विश्व स्तर पर भारत को बदनाम करने का प्रयास कर रहे हैं, और अब केवल अपने राजनीतिक करियर को बचाने की कोशिश कर रहे हैं.
इस बीच एनडीए खेमा भी एक्टिव हो गया है. पीएम मोदी और बीजेपी ने एनडीए को पुनर्जीवित करने के लिए काम शुरू कर दिया है. बीजेपी ने 38 दलों को इकट्ठा किया है, जिनमें से कई सीमित क्षेत्रीय प्रभाव वाले हैं, क्योंकि वे आगामी चुनावी लड़ाई की तैयारी कर रहे हैं. पीएम मोदी ने मंगलवार को शक्ति प्रदर्शन के दौरान विपक्ष के एकजुट होने के प्रयासों को सीधे चुनौती देते हुए कहा कि हम भारत के लोगों को एकजुट करते हैं, वे भारत के लोगों को विभाजित करते हैं.
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