महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और शिवसेना (शिंदे गुट) के नेता एकनाथ शिंदे ने राहुल गांधी की ओर से वीर सावरकर का संदर्भ लेकर दिए गए बयान पर पलटवार किया. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी को इसके लिए दंडित किया जाना चाहिए. राहुल गांधी ने आज एक संवाददाता सम्मेलन में 'मोदी सरनेम' को लेकर दिए गए बयान पर माफी मांगने के सवाल पर कहा कि, "मेरा नाम सावरकर नहीं है. मैं गांधी हूं, गांधी कभी माफी नहीं मांगते."
महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे ने आज विधानसभा में कहा कि, ''सावरकर केवल महाराष्ट्र ही नहीं बल्कि पूरे देश के लिए एक आदर्श हैं और राहुल गांधी ने उन्हें बदनाम किया है. राहुल गांधी की इस हरकत के लिए जितनी भी आलोचना की जाए कम होगी. आज भी उन्होंने कहा कि मैं माफी मांगने वाला सावरकर नहीं हूं. वे सावरकर के बारे में क्या सोचते हैं? उन्हें इसके लिए दंडित किया जाना चाहिए.''
Savarkar is not only Maharashtra's deity but is an idol for the whole country and Rahul Gandhi has defamed him. Any criticism of Rahul Gandhi will be lesser for his this deed. Today also, he said that I am not Savarkar who will apologise. What does he think of Savarkar? He must… pic.twitter.com/bRa6lhDXug
— ANI (@ANI) March 25, 2023
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को संसद सदस्यता रद्द होने के बाद आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बीजेपी और खास तौर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर आरोप लगाए. राहुल गांधी ने कहा कि, ''अगर प्रधानमंत्री को लगता है कि मुझे डराकर, जेल में डालकर, मार-पीटकर, डिस्क्वालीफाई कराकर चुप करा देंगे तो यह उनकी गलतफहमी है. प्रधानमंत्री पैनिक हो गए हैं. उन्होंने विपक्ष को सबसे बड़ा हथियार दे दिया है. मुझे इन सबसे कोई फर्क नहीं पड़ता.'' बीजेपी की माफी मांगने की मांग पर राहुल गांधी ने कहा, "मेरा नाम सावरकर नहीं है. मैं गांधी हूं, गांधी कभी माफी नहीं मांगते."
राहुल गांधी ने कहा कि, ''मैंने कई बार कहा है कि लोकतंत्र पर हमला हो रहा है. मेरी स्पीच संसद से हटा दी गई. मैंने नियम बताए और स्पीकर को डीटेल में चिठ्ठी भी लिखी, पर मुझे बोलने नहीं दिया गया. बीजेपी वालों ने मुझे भारत विरोधी बताया. मेरा सदस्य के तौर पर सफाई देने का अधिकार है, मगर स्पीकर ने मुझे बोलने नहीं दिया. सभी विपक्षी दलों का धन्यवाद है कि उन्होंने मेरा साथ दिया. आगे साथ मिलकर काम करेंगे.''
एक संवाददाता के यह पूछने पर कि क्या आपको अपने बयान पर अफसोस है? राहुल गांधी ने कहा कि, ''अब यह लीगल मैटर है. इस पर बोलना ठीक नहीं है. मैं हिंदुस्तान के लिए लड़ूंगा. मैं लोकतंत्र के लिए लड़ूंगा.''
बीजेपी की ओर से राहुल गांधी पर पलटवार किया गया. बीजेपी सांसद रविशंकर प्रसाद ने कहा कि, ''राहुल गांधी ने आज अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में आदत के मुताबिक भटकाने की कोशिश की. उन्होंने गलत बयानी की और विषय पर कुछ नहीं कहा. राहुल गांधी को 2019 में उनके भाषण पर सजा हुई है. आज उन्होंने कहा कि 'मैं सोच समझकर बोलता हूं' मतलब 2019 में जो राहुल गांधी ने बोला था, वह सोच समझ कर बोला था. राहुल गांधी ने ओबीसी समाज का अपमान किया है. राहुल गांधी नाखून कटाकर शहीद होने की कोशिश कर रहे हैं.''
रविशंकर प्रसाद ने कहा कि, ''आलोचना कीजिए पर गाली देने का हक आपको नहीं है. राहुल गांधी को किसी को गाली देने का अधिकार नहीं है. राहुल गांधी जी अगर आपको गाली देने का अधिकार है तो पीड़ित को कोर्ट जाने का अधिकार है. कोर्ट ने राहुल से कहा कि आप माफी मांगो, तो उन्होंने माफी नहीं मांगी, इसलिए सजा हुई. राहुल गांधी के खिलाफ और कई मामले चल रहे हैं.''
राहुल गांधी को शुक्रवार को एक सांसद के रूप में अयोग्य घोषित कर दिया गया. यह गुजरात में कोर्ट के उस फैसले के एक दिन बाद हुआ, जिसमें उन्हें 2019 के एक बयान को लेकर मानहानि का दोषी पाया गया. राहुल गांधी ने कर्नाटक में एक रैली में कहा था कि, ''सभी चोरों का सरनेम 'मोदी' क्यों होता है.'' उनके बयान को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अपमान माना गया. राहुल के बयान को लेकर भाजपा ने कहा था कि यह पूरे मोदी समुदाय को नीचा दिखाने की कोशिश थी.
राहुल गांधी को दो साल की कैद की सजा सुनाई गई है. हालांकि उनकी सजा 30 दिनों तक निलंबित की गई है और उन्हें जमानत पर रिहा किया गया है. उनके वकील इस फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील करने वाले हैं. हालांकि, सजा मिलने पर राहुल गांधी को लोकसभा सचिवालय ने शुक्रवार को लोकसभा सांसद के रूप में अयोग्य करार दे दिया. अगर अदालत का फैसला उच्च अदालत ने नहीं पलटा तो राहुल गांधी आठ साल तक चुनाव नहीं लड़ सकेंगे.
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