- नागपुर के AIIMS की छात्रा समृद्धि पांडे ने अपने आवास में फांसी लगाकर आत्महत्या की घटना हुई है.
- समृद्धि पांडे CRPF के डीआईजी कृष्णकांत पांडे की बेटी और AIIMS में त्वचा रोग विभाग की प्रथम वर्ष की छात्रा थीं.
- आत्महत्या के कारणों की जांच नागपुर के सोनेगांव पुलिस स्टेशन द्वारा आकस्मिक मृत्यु के रूप में की जा रही है.
नागपुर के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) की छात्रा समृद्धि पांडे की आत्महत्या से सनसनी फैल गई है. केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के डीआईजी कृष्णकांत पांडे की बेटी द्वारा नागपुर में आत्महत्या किए जाने की घटना पर दुःख व्यक्त किया जा रहा है.
कुमारी समृद्धि पांडे नागपुर के एम्स में त्वचा रोग शाखा (Dermatology) में चिकित्सा शिक्षा ले रही थीं. बुधवार की सुबह जब उनकी सहेली कॉलेज गईं, तो पता चला कि उन्होंने आत्महत्या कर ली है. उन्होंने अपनी ओढ़नी से सीलिंग फैन से फंदा लगाकर आत्महत्या की. समृद्धि त्वचा रोग विभाग में स्नातकोत्तर (Post-graduate) की प्रथम वर्ष की छात्रा थीं.
उन्होंने आत्महत्या क्यों की, इसकी जांच चल रही है और नागपुर के सोनेगांव पुलिस स्टेशन में आकस्मिक मृत्यु (Accidental Death) का मामला दर्ज किया गया है.
नागपुर एम्स के सूत्रों ने बताया कि छात्रा की आत्महत्या का मामला दुर्भाग्यपूर्ण, चौंकाने वाला है. हालांकि, इस विषय पर पुलिस ही बात करेगी. एम्स नागपुर ने इस विषय पर बात करने से इनकार कर दिया है. एम्स नागपुर के एक उच्च पदस्थ सूत्र ने बताया कि यह विषय पुलिस की जांच के अधीन है, इसलिए हम कुछ नहीं कह सकते.
उन्होंने कहा कि, "एम्स नागपुर में हम सभी इस घटना से स्तब्ध और दुखी हैं. हालांकि, संबंधित छात्रा को एम्स नागपुर आए हुए सिर्फ दो या तीन महीने ही हुए थे."
आमतौर पर छात्रों की आत्महत्या शैक्षणिक तनाव (Academic Stress) के कारण होती है, ऐसा कहा जाता है. हालांकि, इस सवाल पर एम्स के सूत्रों ने बताया कि, "त्वचा रोग (डर्माटोलॉजी) की छात्रा होने के कारण उन्हें शैक्षणिक तनाव होने का सवाल ही नहीं उठता. डर्माटोलॉजी में केवल सुबह 9 से शाम 5 बजे तक ही काम होता है. इसमें अन्य शाखाओं जैसा काम नहीं होता. इसलिए, शाम या रात में रुकने या काम से संबंधित तनाव (Work Related Stress) होने का सवाल ही नहीं है."
एम्स के सूत्रों ने कहा कि एम्स नागपुर में छात्रों के लिए काउंसलिंग (Counselling) हमेशा शुरू रहती है, तनाव मुक्ति की वर्कशॉप चलती हैं, तनाव कम करने (डी-स्ट्रेस) की व्यवस्था है. इसलिए, चूंकि आत्महत्या की जांच पुलिस कर रही है, उन्हें ही इस बारे में कुछ कहने का अधिकार है.
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