पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी हत्याकांड की एक अहम सुनवाई आज सुप्रीम कोर्ट में हुई। सुनवाई के बाद कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। वहीं, हत्या के दोषी तीनों आरोपियों की अपील का केंद्र सरकार ने जोरदार विरोध किया। तीनों आरोपियों ने मौत की सजा को आजीवन कारावास में बदलने संबंधी अपील दायर की है।
केंद्र ने उच्चतम न्यायालय से कहा, मौत की सजा पाए दोषियों को दया याचिकाएं लंबित रहने के दौरान किसी प्रकार के उत्पीड़न और अमानवीय अनुभव का सामना नहीं करना पड़ा। केन्द्र ने उच्चतम न्यायालय से कहा, सजाए मौत कम करने के लिए यह योग्य मामला नहीं है।
साथ ही कोर्ट में केंद्र ने कहा है कि दोषी दया के लायक नहीं हैं।
सुप्रीम कोर्ट आज राजीव गांधी हत्याकांड के तीन दोषियों की उस याचिका पर सुनवाई कर रहा है, जिसमें फांसी की सजा को उम्रकैद में बदलने की मांग की गई है, जिन तीन दोषियों ने याचिका दायर की है उनके नाम हैं मुरुगन, सांथन और पेरारिवालन।
दरअसल, इन तीनों दोषियों को फांसी की सजा को उम्रकैद में बदलने की उम्मीद है, क्योंकि हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि फांसी की सजा को उम्रकैद में बदला जा सकता है, अगर दया याचिका पर फैसला लेने में जरूरत से ज्यादा वक्त लिया गया हो। इस मामले में सरकार की ओर से आज अटॉर्नी जनरल बहस करेंगे और फांसी की सजा को न बदलने की मांग करेंगे।
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