पंजाब (Punjab) के मंत्री अमन अरोड़ा (Aman Arora) ने शुक्रवार को दावा किया कि केंद्र ने उन्हें यूरोप की यात्रा के लिए राजनीतिक मंजूरी देने से इनकार कर दिया है, जहां उन्हें अध्ययन दौरे पर जाना था. इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि यह भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत सरकार की 'संकीर्ण मानसिकता' को दिखाता है. अरोड़ा को शनिवार को एक सप्ताह की यात्रा पर जाना था. यह घटनाक्रम भाजपा के साथ राजनीतिक तकरार के बीच हुआ है और आप ने भाजपा पर पंजाब में उसकी सरकार को गिराने के प्रयास करने का आरोप लगाया है.
अरोड़ा ने टेलीफोन पर कहा, 'भाजपा नीत केंद्र पंजाब पर पराली जलाने का आरोप लगाता है, लेकिन जब मुझे ज्ञान आदान प्रदान करने के दौरे पर जाना था तो उन्होंने मंजूरी देने से इनकार कर दिया. भागीदारी से पंजाब को बाहर रखना भाजपा नीत सरकार की संकीर्ण मानसिकता का एक सटीक उदाहरण है.' यह पूछे जाने पर कि क्या इनकार के लिए कोई कारण बताया गया है, अरोड़ा ने कहा, 'कोई कारण नहीं बताया गया है.'
नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री ने आरोप लगाया कि केंद्र नहीं चाहता कि पंजाब में कोई नयी तकनीक आए या पराली जलाने की समस्या का समाधान खोजा जाए. उन्होंने पहले ट्वीट किया, 'दुख की बात है कि केंद्र सरकार ने मुझे पराली जलाने और प्रदूषण से निपटने के लिए भारत-जर्मन एनर्जी फोरम द्वारा प्रायोजित ग्रीन हाइड्रोजन पर एक ज्ञान-साझाकरण अध्ययन दौरे पर जर्मनी, नीदरलैंड और बेल्जियम जाने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है.'
राज्य सरकार के एक बयान के अनुसार, केंद्रीय नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय ने 14 सितंबर को अमन अरोड़ा सहित 13 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल की एक सूची को मंजूरी दे दी थी, लेकिन विदेश मंत्रालय ने मंत्री को राजनीतिक मंजूरी जारी नहीं की है.
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