जनता दल यूनाइटेड (JDU) के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने एक बार फिर प्रशांत किशोर पर हमला बोला है. उन्होंने शनिवार को कहा कि प्रशांत किशोर व्यापारी हैं, उनका एक बिजनेस है. और वो उस बिजनेस को बढ़ाने के लिए मार्केटिंग करते हैं. सीएम नीतीश कुमार द्वारा उनको ऑफर देने की बात भी एक मार्केटिंग का ही हिस्सा है. उन्हें कोई ऑफर नहीं दिया गया था. प्रशांत किशोर ने खुद इच्छा व्यक्त की थी, मुख्यमंत्री जी ने उनसे कहा कि पहले राष्ट्रीय अध्यक्ष जी से मिलिए. उन्होंने फिर हमसे दिल्ली में कई घंटे की मुलाकात की. उस मुलाकात के दौरान मैंने उनको कहा कि दल के अनुशासन में रहकर आपको काम करना पड़ेगा. दल के निर्णय को आपको मानना होगा. ये दो शर्त अगर आप मानिएगा तो आप पार्टी के अंदर काम कर सकते हैं. इसपर प्रशांत किशोर ने सीएम से फिर मिलने की बात कही थी, लेकिन दिल्ली से पटना आने से पहले ही उन्होंने मीडिया से बात की और ये बताया कि हमको बुलाया जाएगा लेकिन हम जाएंगे नहीं. वो ये सब मार्केटिंग के तहत कर रहे हैं.
JDU अध्यक्ष ललन सिंह ने किया दावा, प्रशांत किशोर तो आखिरकार बीजेपी के साथ ही जाएंगे#Bihar pic.twitter.com/7cVFF9YOOl
— NDTV India (@ndtvindia) September 17, 2022
ललन सिंह ने कहा कि आज जो प्रशांत किशोर ऑफर किए जाने की बात रह रहे हैं वो गलत है. उन्हें किसी ने कोई ऑफर नहीं किया है. क्यों करेगा भाई कोई उन्हें ऑफर वो हैं कौन? बिहार में उनको घूमना है तो घूमे, कोई रोक रहा है क्या उनको. हम सबको पता है कि इन दिनों प्रशांत किशोर बीजेपी के लिए काम कर रहे हैं. बीजेपी आज जनाधार के बल पर अपनी पार्टी को विकसित नहीं करना चाह रही है वो सिर्फ षड़यंत्र के बल पर अपनी पार्टी विकसित करना चाह रही है.
बता दें कि कुछ दिन पहले ही प्रशांत किशोर ने भागलपुर में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान नीतीश कुमार द्वारा उन पर किए गए टिप्पणी का जवाब दिया था. उन्होंने कहा था कि नीतीश कुमार यहां के बुजुर्ग नेता हैं, वो कुछ बोलना चाहते हैं तो उनको बोलने दीजिए. व्यक्तिगत टीका टिप्पणी करना ठीक नहीं है. अगर उन्होंने कुछ कहा है तो वो उनकी सोच है. कौन बीजेपी के साथ काम कर रहा है, जहां तक मैं और आपलोग जानते हैं अभी 1 महीना पहले तक नीतीश कुमार बीजेपी के साथ ही थे.
उन्होंने कहा था कि नीतीश कुमार अगर किसी को इस तरह का सर्टिफिकेट दे रहे हैं तो ये हास्यास्पद ही है. नीतीश कुमार पर हमला करते हुए उन्होंने कहा था कि 17 साल मुख्यमंत्री रहने के बाद आपको याद आया कि 10 लाख नौकरी दी जा सकती है, पहले ही दे देना चाहिए था. लेकिन चलिए अब नीतीश कुमार इतने बड़े नेता हैं, उनको A से Z तक पता है. दूसरे को ABC भी नहीं आता है.
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