दिल्ली नगर निगम की स्टैंडिंग कमेटी के चुनाव को लेकर आम आदमी पार्टी (AAP) और बीजेपी के बीच शुक्रवार को घमासान लड़ाई हुई. दोनों पक्षों के पार्षदों के एक-दूसरे पर बोतलें फेंकने से लेकर लातें, घूंसे चलाने और बाल खींचने तक के घटनाक्रम के एक दिन बाद सप्ताहांत में अपेक्षाकृत अधिक रचनात्मक संघर्ष ऑनलाइन सामने आया. दोनों ओर से अब पोस्टर वार शुरू हो गया.
बीजेपी ने 90 के दशक की एक फिल्म के नाम से प्रेरित होकर पोस्टर में वरिष्ठ 'आप' नेता आतिशी को "खलनायिका" करार दिया. जबकि अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली पार्टी ने गौतम गंभीर जैसे बीजेपी नेताओं को निशाना बनाते हुए "बैलेट चोर मचाए शोर" कहा.
सदन में मारपीट और तानाशाही करवाने वाली AAP की “खल-नायिका” pic.twitter.com/yp3v7Tw2wQ
— BJP Delhi (@BJP4Delhi) February 25, 2023
BJP वाले जो इतना मचा रहे शोर हैं,
— Aam Aadmi Party Delhi (@AAPDelhi) February 25, 2023
ये ही लोकतंत्र के हत्यारे और Ballot चोर हैं। pic.twitter.com/mfsZyPzqEu
दिल्ली नगर निगम (MCD) की स्थायी समिति के चुनाव के दौरान बीजेपी और आम आदमी पार्टी के पार्षदों के बीच मारपीट के एक दिन बाद पोस्टर युद्ध शुरू हो गया. 'आप' की नेता और मेयर शेली ओबेरॉय ने शुक्रवार को छह सदस्यीय स्थायी समिति के चुनाव में एक वोट को अवैध घोषित कर दिया था. इसके बाद बीजेपी और आम आदमी पार्टी के पार्षदों ने एक-दूसरे को लात, घूंसे मारे और धक्का-मुक्की की.
बीजेपी और 'आप' के बीच झगड़े के दौरान एक पार्षद अशोक मनु गिर पड़े. उन्हें नजदीकी अस्पताल ले जाया गया. भारी हंगामे के चलते एमसीडी हाउस की कार्यवाही सोमवार तक के लिए स्थगित करनी पड़ी.
महापौर शैली ओबेरॉय ने कहा है कि चुनाव की कवायद नए सिरे से शुरू होगी क्योंकि शुक्रवार को हुए हंगामे के कारण मतपत्र और अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज फट गए या खो गए.
दिसंबर में हुए एमसीडी चुनावों में हार का सामना करने वाली बीजेपी ने शनिवार को दावा किया कि एक दिन पहले तकनीकी विशेषज्ञों द्वारा की गई गणना के आधार पर नगर निगम की स्थायी समिति चुनाव में दोनों पार्टियों में से प्रत्येक के तीन-तीन सदस्य जीते थे. मेयर को इसे स्वीकार करना चाहिए. वे परिणाम की घोषणा करें.
दिल्ली में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए दिल्ली बीजेपी के कार्यकारी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने आरोप लगाया कि मेयर शैली ओबेरॉय द्वारा स्थायी समिति के छह सदस्यों का चुनाव फिर से कराने की घोषणा "अलोकतांत्रिक" और "असंवैधानिक" है.
उन्होंने कहा कि, "बीजेपी सदस्य सोमवार को सदन जाएंगे. हो सकता है कि महापौर हमारी मांगों से सहमत हों. लेकिन अगर हमारी मांगें नहीं मानी गईं तो हम कानूनी रास्ते तलाश सकते हैं."
'आप' विधायक आतिशी ने शुक्रवार की हंगामे के बाद संवाददाताओं से कहा कि मेयर के पास सदन की पीठासीन अधिकारी के रूप में वोट को अमान्य घोषित करने की शक्ति है. अगर बीजेपी सदस्य असहमत हैं, तो वे इसे चुनौती देने के लिए अदालत जा सकते हैं, लेकिन उन्होंने हिंसा का सहारा लिया.
आम आदमी पार्टी ने बीजेपी पार्षदों पर अपने पार्षदों के साथ दुर्व्यवहार करने और यहां तक कि महापौर शैली ओबेरॉय पर "हमला" करने का भी आरोप लगाया है.
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