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खुला मोक्ष का मार्ग... राजस्थान के कुछ परिवारों के लिए ये है राहतभरी खबर

जोधपुर से हरिद्वार चलने वाली ट्रेन अंबाला तक चल रही थी. किसान आंदोलन के चलते ट्रेन आगे नहीं जा पा रही थी, जिसके कारण पिछले 34 दिनों में शहर के कई श्‍मशान घाट में मृत लोगों की अस्थियों का अंबार लग गया था.

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खुला मोक्ष का मार्ग... राजस्थान के कुछ परिवारों के लिए ये है राहतभरी खबर
अब जोधपुर से हरिद्वार जाने वाले लोगों के लिए राहत...
जोधपुर:

34 दिनों के बाद किसान आंदोलन समाप्त होने के साथ ही अब पश्चिमी राजस्थान के लोगों के परिवारों के लिए राहत की खबर आई है. यह ख़बर उन परिवारों के लिए राहत भरी है, जिनके परिवार में पिछले दिनों किसी न किसी रिश्तेदार की मौत हो गई थी और वे अपने परिवार के रिश्तेदारों की अस्थियों को हरिद्वार नहीं ले जा पा रहे थे. दरअसल, जोधपुर से हरिद्वार चलने वाली ट्रेन अंबाला तक चल रही थी. किसान आंदोलन के चलते ट्रेन आगे नहीं जा पा रही थी, जिसके कारण पिछले 34 दिनों में शहर के कई श्‍मशान घाट में मृत लोगों की अस्थियों का अंबार लग गया था. श्‍मशान में लोगों की अस्थियों के अंबार लगने की बात को लेकर केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह ने भी चिंता व्यक्त की थी. और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से बातचीत कर कोई वैकल्पिक मार्ग पर ट्रेन चलाने के लिए बातचीत की थी. हालांकि वैकल्पिक ट्रेन चलाने का मौका तो नहीं मिला, लेकिन किसान आंदोलन जरूर समाप्त हो गया और ऐसे में अब जोधपुर से हरिद्वार जाने वाले लोगों के लिए राहत मिली है.

हिंदू समाज में मान्‍यता... 

ऐसी मान्यता है कि हिंदू समाज में किसी की मौत हो जाती है, तो उसके बाद उनकी अस्थियों को मोक्ष के लिए हरिद्वार में अंतिम संस्कार किया जाता है. किसान आंदोलन के समाप्त होने से अब कह सकते हैं कि मोक्ष का मार्ग खुल गया है और जिन लोगों की पिछले दिनों मृत्यु हुई थी, उनकी अस्थियों को उनके परिवारजन हरिद्वार में ले जाकर विसर्जित कर सकेंगे और उनके लिए मोक्ष की जो यात्रा है वह पूरी हो सकेगी.

कई ट्रेनें रहीं प्रभावित, लोग परेशान

उत्तर पश्चिम रेलवे के जोधपुर डीआरएम पंकज कुमार सिंह ने बताया कि किसानों के सोमवार अपराह्न पिछले माह से चल रहे आंदोलन के खत्म करने की घोषणा से रद्द, आंशिक रद्द और मार्ग परिवर्तित रेल सेवाओं का संचालन तुरंत प्रभाव से बहाल कर दिया गया है. उन्होंने बताया कि किसान आंदोलन के कारण जोधपुर मंडल से गुजरने वाली तीन ट्रेनों का संचालन प्रभावित हो रहा था, जिसके तहत दो ट्रेनें आंशिक रद्द की जा रही थी और एक ट्रेन परिवर्तित मार्ग से चलाई जा रही थी. उल्लेखनीय है कि करीब 1 माह से ज्यादा समय से जोधपुर से हरिद्वार की ट्रेन कनेक्टिविटी पूरी तरह से बंद हो गई थी, जिसके चलते हरिद्वार जाने वाले लोगों को काफी परेशानी हो रही थी. 

इन ट्रेनों की खुली राह 

  • किसान आंदोलन खत्म होने से अब ट्रेन 14888/14887, बाड़मेर-ऋषिकेश-बाड़मेर एक्सप्रेस बठिंडा में आंशिक रद्द होने की बजाय हरिद्वार-ऋषिकेश तक संचालित होने लगेगी.
  • 14661/14662,बाड़मेर-जम्मूतवी-बाड़मेर शालीमार एक्सप्रेस जो किसान आंदोलन के कारण दिल्ली से जम्मूतवी के बीच आंशिक रद्द की जा रही थी, उसका संचालन भी बहाल किया जा रहा है, जिससे यात्रियों को राहत मिलेगी. ट्रेन को दिल्ली से जम्मूतवी के मध्य आंशिक रद्द किया जा रहा था. 
  • ट्रेन  संख्या 19271/19272,भावनगर टर्मिनस-हरिद्वार-भावनगर टर्मिनस साप्ताहिक ट्रेन जो परिवर्तित मार्ग से चलाई जा रही वह तुरंत प्रभाव से आवागमन में अपने पूर्व निर्धारित मार्ग भीलड़ी-जालोर-मोदरान-समदड़ी-जोधपुर-डेगाना-डीडवाना-सुजानगढ़-रतनगढ़ मार्ग से हरिद्वार-भावनगर टर्मिनस स्टेशनों के मध्य संचालित की जा रही है.

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