
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) के अध्यक्ष शरद पवार ने शनिवार को अपने भतीजे और महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार से पुणे स्थित वसंतदादा शुगर इंस्टीट्यूट में मुलाकात की. इस मुलाकात पर शरद पवार के सहयोगी और शिवसेना (उबाठा) सांसद संजय राउत ने तीखी प्रतिक्रिया दी है. राउत ने कहा कि शिवसेना (उबाठा) के नेता उन लोगों से कोई संपर्क नहीं रखते हैं जो पार्टी छोड़कर चले गए हैं. उनकी पार्टी राकांपा(एसपी) और कांग्रेस के साथ विपक्षी गठबंधन महा विकास आघाडी (एमवीए)का हिस्सा है.
इससे पहले दिन में सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त अनुसंधान संस्थान, वसंतदादा शुगर इंस्टीट्यूट की शासकीय परिषद की बैठक में शरद पवार, उनकी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटिल और प्रतिद्वंद्वी राकांपा नेता अजित पवार और दिलीप वाल्से पाटिल शामिल हुए.

राउत ने पिछले महीने शरद पवार द्वारा 2022 में शिवसेना को विभाजित करने वाले शिंदे को सम्मानित करने और उनकी प्रशंसा करने पर नाराजगी व्यक्त की थी.
इस बीच, राकांपा (एसपी) की कार्यकारी अध्यक्ष सुप्रिया सुले ने अपनी पार्टी के सहयोगी जयंत पाटिल और अपने चचेरे भाई अजित पवार के बीच हुई बैठक को तूल नहीं देती नजर आईं.
उल्लेखनीय है कि जयंत पाटिल के अजित पवार गुट में शामिल होने की अटकलें लंबे समय से चल रही हैं. हालांकि, पाटिल ने इन अफवाहों का खंडन किया है.

सुले ने संवाददाताओं से कहा, "वसंतदादा शुगर इंस्टीट्यूट (वीएसआई) में सभी दलों के लोग सदस्य हैं. शासकीय परिषद की बैठक में चीनी उद्योग, किसानों और संबद्ध व्यवसायों तथा नई प्रौद्योगिकी से संबंधित मुद्दों पर चर्चा की गई. यह एक अकादमिक बैठक है, जिसमें किसी राजनीति या राजनीतिक विचारधारा पर चर्चा नहीं की जाती है."
राकांपा (एसपी) नेता अमोल मटाले ने कहा कि जयंत पाटिल और अजित पवार के बीच मुलाकात कोई ढकी छुपी नहीं है. उन्होंने राउत पर कटाक्ष करते हुए कहा, "दूसरों की आलोचना करने के बजाय कृपया देखें कि आपके अपने घर में क्या चल रहा है."
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