सोमवार को पटियाला हाईवे पर एक्सिस बैंक की कैश वैन से दिन दहाड़े एक करोड़ 34 लाख की नकदी लूटने वाला गिरोह पुलिस के हत्थे चढ़ गया। गिरोह के सभी आठ सदस्यों को पुलिस ने गिरफ्तार कर उनके कब्ज़े से 1 करोड़ 28 लाख रुपये भी बरामद कर लिए हैं।
चौंकाने वाली बात ये कि लूट की वारदात की पूरी प्लानिंग करने वाला शख्स 35 साल का रणप्रीत सिंह राणा है जो बी टेक की पढ़ाई कर चुका है और आईएएस बनने का ख्वाब लेकर चंडीगढ़ में कोचिंग भी कर चुका है। लेकिन नाकामी हाथ लगने पर लूटेरा बन गया।
पटियाला जोन के पुलिस महानिरीक्षक पीएस गिल ने पत्रकारों को बताया कि राणा के गैंग में शामिल सदस्यों पर कुल 18 आपराधिक मामले दर्ज हैं। लूट को अंजाम देने के लिए 10 दिन पहले से ही चंडीगढ़ और मोहाली में बैंकों की कैश वैनों का पीछा कर रुट्स की जानकारी हासिल की। वारदात को अंजाम देने के लिए 32 बोर की 2 पिस्तौल, लोहे की रोड, कुल्हाड़ी और आरी भी खरीदी गई। ये सब हथियार पुलिस ने बरामद कर लिए हैं। लूट में इस्तेमाल सफ़ेद फॉर्च्यूनर भी मिल गई है।
वारदात को कुछ यूं अंजाम दिया गया। बदमाशों ने पूरे फ़िल्मी अंदाज़ में कैश वैन का पीछाकर सुनसान जगह देख ओवरटेक किया और ड्राइवर की आंख में लाल मिर्च झोंकी, इसके बाद पिस्तौल के बल पर दोनों सुरक्षा गार्ड्स को काबू किया। अपनी पहचान छिपाने के लिए लूटेरों ने बन्दर टोपी पहन रखी थी। वैन को लूटेरे कुछ दूर जाकर एक गांव के खेतों में ले गए और कैश निकाल कर फरार हो गए थे।
आईजी गिल ने बताया कि लूटेरों तक पहुंचना आसान नहीं था क्योंकि पूरी वारदात के दौरान किसी भी शख्स के पास मोबाइल फ़ोन नहीं था और उंगलियों के निशान मिटने के लिए कैश वैन को आग लगा दी गई थी। अभी तक की पूछताछ में बैंक या सिक्योरिटी कंपनी के किसी भी कर्मचारी की भूमिका सामने नहीं आई है।
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