बिहार कैडर के चर्चित आईएएस अधिकारी संजीव हंस (IAS Sajeev Hans) अचानक एक बार फिर से सुर्खियों में आ गए हैं. शनिवार रात प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने संजीव हंस को उनके पटना के सरकारी आवास से गिरफ्तार किया. इधर, उनके साथी गुलाब यादव, जो कि राजद के पूर्व विधायक है, उन्हें दिल्ली के एक रिजॉर्ट से गिरफ्तार किया गया. संजीव हंस पिछले 6 महीने से सुर्खियों में बने हुए हैं... खासकर तब से जब पहली बार उनका नाम बिहार के एक टेंडर घोटाले में सामने आया था. उस समय संजीव हंस ऊर्जा विभाग के प्रधान सचिव थे. संजीव हंस 1997 बैच के बिहार कैडर के आईएएस ऑफिसर हैं.
संजीव हंस पर क्या हैं आरोप?
संजीव हंस बिहार में काफी जाने-माने नाम रहे हैं. अपने प्रशासनिक करियर की शुरुआत उन्होंने एसडीएम बांका से की और बाद में बिहार के कई जिलों में जिलाधिकारी के रूप में तैनात रहे. कई विभागों में सचिव का कार्य संभालने के बाद, संजीव हंस की आख़िरी तैनाती सीएमडी, बिहार स्टेट पावर होल्डिंग कंपनी लिमिटेड के तौर पर थी. लेकिन जब पहली बार ईडी ने उनके घर पर रेड डाला, तो उसके बाद सरकार ने उन्हें विभागों से हटाकर वेटिंग फॉर पोस्टिंग पर रख दिया . संजीव हंस के ऊपर आय से अधिक संपत्ति और एक महिला वकील के साथ शारीरिक शोषण का मामला चल रहा है.
मर्सिडीज कार, लक्ज़री घड़ियां और दिल्ली में रिजॉर्ट...!
ईडी के सूत्र बताते हैं कि सजीव हंस और उनके मित्र गुलाब यादव दोनों के पास से जो नकदी, ज्वेलरी, आदि बरामद हुए हैं, वो उनकी आय के स्रोत से कहीं ज्यादा है. यही कारण है कि उनके खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. ईडी की एफआईआर में ये भी आरोप है कि संजीव हंस ने एक टेंडर में बतौर घूस एक मर्सिडीज कार ली थी. सूत्र बताते हैं कि जब उनके घर पर ईडी का छापा पड़ा तो 15 लक्ज़री घड़ियां भी बरामद की गईं, जिनकी कीमत लगभग 75 लाख रुपये है. ईडी के आरोप पत्र में हंस पर ये भी आरोप लगा है कि वो दिल्ली के पास एक रिजॉर्ट में साझेदार है. यहाँ पर लगभग 75 करोड़ का निवेश किया गया. दिल्ली में संजीव हंस ने एक बेनामी नाम से बंगला भी खरदा है, जिसकी कीमत लगभग पन्द्रह करोड़ रुपये है.
हवाला से मंगाया पैसा, तो ED के रडार पर आए
संजीव हंस के ऊपर एक महिला वकील द्वारा शारीरिक शोषण का आरोप लगा, तो उस मामले को रफा-दफा करने के लिए हवाला के माध्यम से उन्होंने 2.5 करोड़ रुपये उस महिला वकील को दिए तथा उसके नाम पर सत्तर लाख रुपये का एक फ्लैट कलकत्ता में खरीद दिया. ये मामला सीधा हवाला से जुड़ा हुआ है, क्योंकि उस महिला वकील को पैसे हवाला के माध्यम से भेजे गए थे. ईडी ये दावा करती है कि उसके पास हवाला के जरिए पैसे भेजे जाने का पुख्ता सबूत है.
संजीव हंस की पत्नी भी करोड़ों की मालिक
संजीव हंस की पत्नी और गुलाब यादव की पत्नी बिजनेस पार्टनर भी हैं. अब ये दोनों महाराष्ट्र के पुणे में एक सीएनजी पेट्रोल पंप चलाती हैं. लेकिन उन्हें सबसे ज्यादा मुसीबत में डाला गुलाब यादव से जुड़े मामले ने. ईडी ने पाया कि 2015 से 2022 के बीच में राजद के पूर्व विधायक गुलाब यादव की पत्नी अम्बिका यादव ने संजीव हंस की पत्नी के अकाउंट में 3.8 करोड़ रुपये जमा किए. जब इन्फोर्समेंट डायरेक्टेड को इस मामले में जरूरी दस्तावेज़ मिल गए और उनके आवास से भारी मात्रा में गहने और नकदी की जब्ती हुई, तो उन्होंने आख़िरकार सजीव हंस और उनके साथी गुलाब यादव को गिरफ्तार कर लिया.
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