पंजाब के अमृतसर निवासी सुखपाल सिंह और उनके जापानी बेटे रिन ताकाहाता की मुलाकात 20 साल बाद हुई. रिन ताकाहाता लंबे समय से अपने पिता से मिलना चाहते थे. लेकिन पिता के नाम के अलावा रिन ताकाहाता को कुछ नहीं पता था. ओसाका यूनिवर्सिटी ऑफ आर्ट्स के 21 वर्षीय छात्र रिन के अनुसार उनको अपने पिता का पता कॉलेज असाइनमेंट के दौरान लगा. रिन ने बताया, "कॉलेज में फैमिली ट्री बनाने के असाइनमेंट मिला था. मुझे अपनी मां के परिवार के बारे में ही जानकारी थी. लेकिन अपने पिता के बारे में कुछ नहीं पता था. ऐसे में मेरा मन किया कि मैं अपने पिता का पता लगाऊं.
बेटे को लगाया गले
अपने पिता की तालाश करते हुए रिन ताकाहाता भारत पहुंच गया. रिन ताकाहाता के पास अपने पिता का नाम, एक पुराना पता और अपनी मां सची ताकाहाता द्वारा रखी गई एक फोटो थी. इन सब चीजों के साथ रिन अमृतसर पहुंचे. फतेहगढ़ में स्थानीय लोगों की मदद से उसे अपने पिता का पता चल गया. सुखपाल के मुताबिक जब उनका बेटा घर पहुंच तो वो वहां नहीं थे. वो रक्षा बंधन के लिए अपने ससुराल गए थे. उन्हें उनके भाई का फोन आया था. जिसने उन्हें रिन के बारे में बताया. अपने बेटे का नाम सुनकर वो चौंक गए और तुरंत अपनी पत्नी और बेटी के साथ घर आए गए. 20 साल बाद अपने बेटे को देखकर वो भावुक हो गए और उसे गले लगा लिया.
टाइम्स ऑफ इंडिया में छपी खबर के अनुसार, सुखपाल ने बताया कि उनकी मुलाकात रिन की मां सची से साल 2002 में हुई थी. सुखपाल और सची थाईलैंड में मिले थे. जिसके बाद उन्होंने शादी कर ली और टोक्यो के नज़दीक चिबा केन में रहने लगे. शादी के एक साल बाद रिन का जन्म हुआ था. लेकिन इस दौरान सुखपाल और उनकी पत्नी सची के बीच कई बातों को लेकर मतभेद होने लगा और वो वापस भारत आ गए. भारत आने के बाद सुखपाल ने गुरविंदरजीत कौर से शादी की, जिनसे उन्हें एक बेटी हुई.
अपने बेटे से 20 साल बाद मिलकर सुखपाल बेहद ही खुश हैं. इतना ही नहीं सुखपाल सिंह के परिवार वालों ने भी रिन का अच्छे से स्वागत किया और सुखपाल की बेटी ने रिन को राखी भी बांधी.
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