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"अगर मुझ पर इस तरह का लेबल लगा दिया जाए तो यह ...": विपक्ष के हमलों पर पीएम मोदी का जवाब

Lok Sabha Elections: पीएम मोदी कहा कि वे अपने विरोधियों को निशाना बना रहे हैं, न कि मुस्लिम समुदाय को. उन्होंने कहा कि शासन में कोई भेदभाव नहीं होना चाहिए.

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"अगर मुझ पर इस तरह का लेबल लगा दिया जाए तो यह ...": विपक्ष के हमलों पर पीएम मोदी का जवाब
पीएम मोदी ने कहा - मुझे ऐसी सत्ता स्वीकार नहीं है जो मेरे देश को बर्बाद कर दे (फाइल फोटो).
नई दिल्ली:

Lok Sabha Elections 2024: पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने गुरुवार को दोहराया कि वे कभी भी हिंदू-मुस्लिम राजनीति (Hindu-Muslim Politics) में शामिल नहीं हुए हैं. उन्होंने तुष्टिकरण की राजनीति करने के लिए विपक्ष (Opposition) की आलोचना की. उन्होंने कहा कि वे अपने भाषणों से भारत की धर्मनिरपेक्षता को कमजोर करने वाले दलों को निशाना बनाते हैं. पीएम मोदी ने यह भी कहा कि वे अपने विरोधियों को निशाना बना रहे हैं, न कि मुस्लिम समुदाय को. उन्होंने कहा कि शासन में कोई भेदभाव नहीं होना चाहिए.

पीएम नरेंद्र मोदी ने यह टिप्पणी आजतक को दिए गए इंटरव्यू में की.

सवाल - देश में धर्मनिरपेक्ष शासन है, तो चुनावी रैलियों में मंगलसूत्र, घुसपैठिए और अधिक बच्चे जैसे शब्दों का उपयोग करने की क्या जरूरत है? पर पीएम नरेंद्र मोदी ने जवाब दिया, "मैंने कभी हिंदू-मुस्लिम (राजनीति) नहीं की है और ऐसा कभी करूंगा भी नहीं." लेकिन अगर मैं कहता हूं कि तीन तलाक गलत है, तो मुझे 'मुस्लिम विरोधी' कहा जाता है. अगर मुझे इस तरह का लेबल दिया जाता है, तो यह  मेरी नहीं, उनकी (आलोचकों की) मजबूरी है.''  पीएम ने कहा कि विपक्ष पूरी तरह से सांप्रदायिक एजेंडे पर चल रहा है और उन्होंने "इसे उजागर किया, इसकी आलोचना की और इसको लेकर उन पर आरोप लगाया."

अल्पसंख्यकों को ठेके देने की व्यवस्था का विरोध

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि, "मुद्दा यह है कि उन्होंने अपने घोषणापत्र में लिखा है कि अब वे अल्पसंख्यकों को ठेका प्रणाली में लाएंगे. अल्पसंख्यकों को ठेके दिए जाएंगे. अगर मैं इस व्यवस्था का विरोध करता हूं तो धर्मनिरपेक्षता के कारण यह करता हूं. सिर्फ इसलिए मुझे अल्पसंख्यक और 'मुस्लिम' शब्द का उपयोग करना पड़ता है, तो इसे इसे तरह लिया जाता है जैसे कि मैं अल्पसंख्यकों पर हमला कर रहा हूं.

पीएम मोदी ने अपनी बात स्पष्ट करते हुए कहा कि वे मुसलमानों को नहीं बल्कि राजनीतिक पार्टियों को निशाना बना रहे हैं. उन्होंने कहा, ''मैं उन (मुसलमानों) पर हमला नहीं कर रहा हूं, मैं उन राजनीतिक दलों पर हमला कर रहा हूं जो भारत की धर्मनिरपेक्षता को नष्ट कर रहे हैं, जो तुष्टिकरण की राजनीति कर रहे हैं, जो देश के संविधान की भावनाओं को नष्ट कर रहे हैं...''

उन्होंने मुस्लिम मतदाताओं संदेश देते हुए दावा किया कि विपक्ष पिछले 75 सालों से समुदाय को बेवकूफ बना रहा है. उन्होंने कहा कि, "मैं मुसलमानों को समझा रहा हूं कि वे तुम्हें बेवकूफ बना रहे हैं, वे तुम्हें 75 साल से बेवकूफ बना रहे हैं, तुम्हें क्यों बेवकूफ बनाया जा रहा है?"

''मैं जो कुछ भी करूंगा, देश के लिए करूंगा''

पीएम मोदी से जब पूछा गया कि क्या उन्हें लगता है कि मुसलमान बीजेपी को वोट देंगे? इस पर उन्होंने कहा कि, "क्या आप वोट के लिए सब कुछ करेंगे? क्या आप देश के लिए कुछ नहीं करेंगे? क्या आप सत्ता पाने के लिए ऐसा करेंगे? मैं इसके खिलाफ हूं. मैं जो कुछ भी करूंगा, देश के लिए करूंगा, वोट तो बाय-प्रोडक्ट हैं. वोट के लिए आप देश को डुबा नहीं सकते और मुझे ऐसी सत्ता स्वीकार नहीं है जो मेरे देश को बर्बाद कर दे."

पिछले महीने पीएम नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस पर तीखा हमला करते हुए आरोप लगाया था कि कांग्रेस लोगों का सोना और संपत्ति छीनना चाहती है और इसे "अधिक बच्चे वालों" के बीच बांटना चाहती है.

पीएम मोदी ने राजस्थान के बांसवाड़ा में एक रैली में यह टिप्पणी की थी. उन्होंने कहा था, "कांग्रेस के घोषणापत्र में कहा गया है कि वह हमारी माताओं और बहनों के सोने का आकलन करेगी, जानकारी एकत्र करेगी और फिर उन लोगों को वितरित करेगी...जैसे कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा था कि देश की संपत्ति पर पहला हक मुसलमानों का है.'' उन्होंने कहा था कि ''आपकी मेहनत से कमाई गई संपत्ति लेने के लिए क्या सरकार के पास इसका अधिकार है?" 

"श्रीनगर में वोटिंग से मेरी नीतियां सही होने की पुष्टि''

जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर में मतदान प्रतिशत में वृद्धि के बारे में पूछे जाने पर पीएम मोदी ने संतोष जताया. उन्होंने कहा कि, "श्रीनगर में वोटिंग मेरे लिए संतुष्टि का क्षण है क्योंकि इसने पुष्टि की है कि मेरी नीतियां सही हैं, मैं भेदभाव नहीं करता, और मेरी सरकार धर्म के आधार पर भेदभाव नहीं करती है. जहां तक राज्य का सवाल है, हमने संसद में वादा किया है और हम इसके लिए प्रतिबद्ध हैं."

जम्मू कश्मीर के श्रीनगर संसदीय क्षेत्र के श्रीनगर, गांदरबल, पुलवामा जिलों और आंशिक रूप से बडगाम और शोपियां जिलों के करीब 2,135 मतदान केंद्रों पर मतदान हुआ. इसमें 6700 प्रवासी मतदाताओं ने भी अपने मताधिकार का प्रयोग किया.

जम्मू कश्मीर के सूचना और पीआर विभाग ने एक्स पर एक पोस्ट में,कहा था कि, "18वीं लोकसभा के आम चुनाव के लिए चौथे चरण का मतदान आज (13 मई) को उल्लेखनीय 37.99 प्रतिशत हुआ. मतदान शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हुआ. श्रीनगर, गांदरबल, पुलवामा और बडगाम और शोपियां जिले आंशिक रूप से 58.80 प्रतिशत मतदान के साथ शीर्ष पर रहे. पीआर विभाग ने आगे कहा था कि मतदान केंद्रों पर बहिष्कार की कोई रिपोर्ट नहीं थी और किसी भी मतदान केंद्र पर शून्य प्रतिशत मतदान दर्ज नहीं किया गया.

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