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अब ड्यूटी रूल समझा रहीं नखरीली IAS पूजा खेडेकर, समझिए क्या कहती है रूल बुक

वाशिम से पहले पूजा खेडकर को पुणे के कलेक्टर ऑफिस में ज्वाइन करना था. लेकिन बंगला, गाड़ी और दफ्तर में बैठने की खास जगह जैसी मांगों को लेकर सूर्खियों में आने की वजह से उन्हें शंट (तबादला)  कर दिया गया और बाद में पुणे से हटाकर वाशिम भेज दिया गया. 

अब ड्यूटी रूल समझा रहीं नखरीली IAS पूजा खेडेकर, समझिए क्या कहती है रूल बुक
IAS पूजा खेडकर ने पुणे की जगह अब वाशिम में किया ज्वाइन
नई दिल्ली:

अपनी मांगों को लेकर बीते कुछ दिनों से सुर्खियों में रहने वाली ट्रेनी IAS पूजा खेडकर ने पुणे की जगह अब वाशिम में असिस्टेंट कलेक्टर का पद संभाल लिया है. पूजा खेडकर के लिए दफ्तर और कर्मचारी जरूर बदल गए हों लेकिन उनके तेवर में किसी तरह का कोई बदलाव नहीं आया है. इसकी एक बानगी वाशिम में भी दिखी. जब असिस्टेंट कलेक्टर ज्वाइन करने के बाद मीडिया ने उनसे बात करने की कोशिश की तो पूजा मीडिया को ही सर्विस रूल समझाने लगीं. उन्होंने कहा कि सर्विस रूल के मुताबिक मैं मीडिया से बात करने के लिए अधिकृत नहीं हूं. आपको बता दें कि वाशिम से पहले पूजा खेडकर को पुणे के कलेक्टर ऑफिस में ज्वाइन करना था. लेकिन बंगला, गाड़ी और दफ्तर में बैठने की खास जगह जैसी मांगों को लेकर सूर्खियों में आने की वजह से उन्हें शंट (तबादला)  कर दिया गया और बाद में पुणे से हटाकर वाशिम भेज दिया गया. 

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मिल रही जानकारी के अनुसार वाशिम में खेडकर फिलहाल गेस्टहाउस में रह रही हैं और उन्हें जल्द ही एक सरकारी क्वाटर अलॉट किया जा सकता है. अभी तक उन्हें ना तो कोई केबिन मिला है और नहीं उनके लिए अलग से कार दी गई है. वाशिम के कलेक्टर भुवनेश्वरी एस ने कहा कि ट्रेनी आईएएस अधिकारियों के लिए पहले से ही एक तय शेड्यूल है. उसी के मुताबिक समय दर समय हर एक विभाग में जाकर काम करना और काम की बारीकियों को समझना पड़ता है. पूजा खेडकर भी इन्हीं नियमों के तहत इस हफ्ते पीडब्ल्यूडी और सिंचाई विभाग की बारीकियों को समझेंगी. इसके बाद उन्हें अलग-अलग विभाग में रोटेट किया जाएगा. इस तरह खेडकर वाशिम में नवंबर तक वापस आएंगी और इसके बाद ही उन्हें स्वतंत्र रूप से चार्ज दिया जाएगा. 


पुलिस की जांच के घेरे में पूजा खेडकर

पूजा खेडकर द्वारा लाल बत्ती का गलत इस्तेमाल करने के मामले में पुणे पुलिस की विशेष टीम जांच कर रही है. पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि आखिर पूजा खेडकर ने निजी वाहन पर 'महाराष्ट्र सरकार' क्यों और किस वजह से लिखवाया. पुलिस की अभी तक की जांच में पता चला है कि पुणे में रहने के दौरान पूजा खेडकर जिस ऑडी कार का इस्तेमाल कर रही थी, वह किसी निजी कंपनी के नाम पर रजिस्टर है. इस कार का पहले भी कई बार चालान हो चुका है. 

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पुणे पुलिस की एक टीम इस ऑडी कार की जांच करने जब पूजा खेडकर के पुणे स्थित आवास पर भी पहुंची तो उन्हें पूजा के घर पर ताला लगा हुआ मिला. पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार पूजा खेडकर जिस ऑडी कार का इस्तेमाल करती थीं, उसे लेकर मोटर व्हेकिल एक्ट के तहत कार्रवाई की जाएगी. आपको बता दें कि पूजा खेडकर पर भारतीय प्रशासनिक सेवा में एक पद सुरक्षित करने के लिए शारीरिक विकलांगता श्रेणी और अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) कोटा के तहत लाभों का दुरुपयोग करने का भी आरोप  है. 

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पूजा खेडकर के पिता के खिलाफ भी हुई शिकायत दर्ज

सूत्रों के अनुसार पूजा खेडकर के पिता पर पुणे कलेक्टर दफ्तर के कर्मचारियों पर अपनी बेटी के लिए विशेष इंतजाम कराने के लिए दबाव बनाने का आरोप है. कहा जा रहा है कि पूजा खेडकर के पुणे में ज्वाइन करने से पहले उनके पिता ने केलेक्टर ऑफिस के कर्मचारियों पर दबाव बनाया था कि पूजा खेडकर के लिए अटैच रेस्टरूम से लेकर महंगे इलेक्ट्रिकल प्रोडक्ट्स लगाने की मांग की थी. बताया जा रहा है कि पूजा के पिता ने कर्मचारियों से धमकी देने के लहजे में कहा था कि जब तक काम पूरा नहीं हो जाता तब तक कोई घर नहीं जाएगा. हालांकि, इन तमाम आरोपों की भी अभी जांच हो रही है. 

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