राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने पिछले साल अपनी सरकार को गिराने के प्रयासों को लेकर एक बड़ा बयान दिया है. उन्होंने रविवार को एक कार्यक्रम में कहा कि पिछले साल जब पार्टी के विधायकों की बगावत की वजह से मेरी सरकार गिरने के कगार पर थी, तो मुझे उस समय बीजेपी नेता और राज्य की पूर्व सीएम वसुंधरा राजे समेत उनकी पार्टी के तीन नेताओं का साथ मिला था. गहलोत ने आगे कहा कि जब भैरो सिंह शेखावत की सरकार थी और मैं कांग्रेस का प्रदेश अध्यक्ष था तब शेखावत की सरकार गिराने के लिए बीजेपी वाले मेरे पास आए थे, लेकिन मैंने मना कर दिया था. खास बात ये है कि अशोक गहलोत का यह बयान सचिन पायलट गुट पर हमले के साथ-साथ बीजेपी में दरार पैदा करने की कोशिश वाला बयान माना जा रहा है.
बता दें कि 2020 में कांग्रेस के विधायकों ने सचिन पायलट की अगुवाई में गहलोत सरकार के खिलाफ बगावत की थी. स्थिति कुछ ऐसी बन गई थी कि लग रहा था सीएम गहलोत की सरकार किस भी वक्त गिर सकती है. हालांकि, बाद में दिल्ली से आए कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं के हस्तक्षेप के बाद राज्य में चल रहे राजनीतिक गतिरोध को दूर कर लिया गया था.
अशोक गहलोत ने कहा कि एमएलए शोभा रानी बहुत बोल्ड लेडी हैं. शोभा रानी ने जब साथ दिया हमारा, तो भाजपा वालों की हवा उड़ गई. सीएम गहलोत ने कहा कि, ''जब शेखावत मुख्यमंत्री थे, उस वक्त उनकी पार्टी के लोग सरकार गिरा रहे थे. मैं प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष था. मेरे पास लोग आए... बंटने लगा पैसा. अभी बंटा वैसा उस वक्त भी बंटा था. मैंने उनसे कहा भले आदमियो तुम्हारा नेता भैरौ सिंह शेखावत मुख्यमंत्री है, मैं पीसीसी का अध्यक्ष हूं. वो बीमार है, इसलिए अमेरिका गया हुआ है. और तुम पीठ पीछे षड्यंत्र करके सरकार गिरा रहे हो. मैं तुम्हारा साथ नहीं दूंगा.''
राजस्थान : #AshokGehlot का सचिन पायलट गुट के साथ-साथ बीजेपी पर हमला#RajasthanPolitics pic.twitter.com/u64IWXbbHK
— NDTV India (@ndtvindia) May 7, 2023
उन्होंने कहा कि, ''अगर मैं चाहता तो उनके साथ शामिल हो सकता था, भैरो सिंह की सरकार गिर सकती थी. मैंने कहा तुम यह अनैतिक काम कर रहे हो. जो आदमी बीमार है, तीन-तीन आपरेशन हो गए. उनकी वहां पर स्थिति बहुत नाजुक हो गई थी. और तुम पीछे सरकार गिरा रहे हो.''
सीएम गहलोत कहा कि, ''यही बात कैलाश मेघवाल और वसुंधरा राजे सिंधिया ने कही. हमारे यहां परंपरा नहीं रही है इस प्रकार पैसे के बल पर चुनी हुई सरकार गिराने की.यह क्या गलत कहा उन्होंने. शोभा रानी ने वसुंधरा राजे और कैलाश मेघवाल की बात सुनी. इनकी अंतरात्मा ने कहा कि मुझे भी ऐसे लोगों का साथ नहीं देना चाहिए. क्या गलत कहा शोभा रानी ने. इसलिए हमारी सरकार बची है.''
उन्होंने कहा कि, ''मैं जिंदगी में यह घटना कभी भूल नहीं सकता, जो मेरे साथ बीती थी. यह तो प्रदेश वासी मजबूत रहे, सजग रहे. फोन आ गए थे विधायकों के पास. मुझे गर्व है कहते हुए. आम जनता ने अपने-अपने एमएलए को कहा, चाहे छह महीने होटलों में रहना पड़े, रहो, पर सरकार नहीं गिरनी चाहिए. इस बात का मुझे गर्व है.''
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