काग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद ने आधी रात के जीएसटी समारोह कार्यक्रम को गरिमा के खिलाफ बताया.
नई दिल्ली:
कांग्रेस वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) लागू करने के लिए 30 जून की आधी रात को संसद के केंद्रीय कक्ष में आयोजित किए जा रहे समरोह में हिस्सा नहीं लेगी. पार्टी द्वारा आयोजित एक प्रेस कांफ्रेंस में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद ने आधी रात के कार्यक्रम को गरिमा के खिलाफ बताया. आजाद ने कहा कि जीएसटी समारोह ठीक नहीं.
मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए आजाद ने कहा कि जीडीपी गिरावट पर सरकार का कोई ध्यान नही है. सरकार बहरी है, उसे चीख पुकार सुनाई नहीं देती. कांग्रेस के साथ ही कुछ अन्य दलों ने भी इस समारोह में शामिल नहीं होने का फैसला किया है. तृणमूल कांग्रेस ने भी साफ कर दिया है कि पार्टी समारोह में हिस्सा नहीं लेगी.
कांग्रेस के इस कदम से साफ हो गया है कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह भी इस कार्यक्रम में हिस्सा नहीं लेंगे. यह इसलिए अहम है क्योंकि मंच पर पीएम और राष्ट्रपति के अलावा दो पूर्व प्रधानमंत्रियों को भी आमंत्रित किया गया था. इससे पहले तृणमूल कांग्रेस ने भी इस सत्र का बहिष्कार करने की घोषणा की थी. इस संबंध में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पुष्टि भी कर दी थी कि उनकी पार्टी 30 जून की आधी रात को गुड्स एंड सर्विसेज़ टैक्स (जीएसटी) को लॉन्च करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा आयोजित किए जा रहे भव्य कार्यक्रम में शामिल नहीं होगी.
कांग्रेस ने इससे पहले बुधवार को उन्होंने आमंत्रण पत्र को लेकर आपत्ति दर्ज की थी, जिसमें कहा गया है कि देश के इतिहास के सबसे बड़े कर सुधार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लॉन्च करेंगे. देश की प्रमुख विपक्षी पार्टी का कहना है कि यह उद्घाटन राष्ट्रपति को करना चाहिए. कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, "राष्ट्रपति की मौजूदगी में जीएसटी को प्रधानमंत्री कैसे लॉन्च कर सकते हैं...? यह कतई सही नहीं है, अस्वीकार्य है..."
उल्लेखनीय है कि एक जुलाई को पूरे देश में एकीकृत टैक्स के रूप में लागू होने जा रहे वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के मद्देनजर 30 जून की आधी रात को संसद में खास कार्यक्रम का आयोजन होगा. इसके तहत राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और पीएम मोदी ठीक रात के 12 बजे app के जरिये जीएसटी लांच करेंगे. 30 तारीख की रात 11 बजे से 12:10 बजे तक ये कार्यक्रम चलेगा.
मंच पर राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी, उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, पीएम नरेंद्र मोदी, पूर्व प्रधानमंत्री देवगौड़ा के अलावा वित्त मंत्री अरुण जेटली बैठेंगे. अरुण जेटली सबका स्वागत करेंगे फिर पीएम मोदी और उसके बाद राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का भाषण होगा. जीएसटी पर दो डॉक्यूमेंट्री भी दिखाई जाएगी. इस विशेष आयोजन के लिए सेंट्रल हॉल को तैयार किया जा रहा है. वहां बड़ी टीवी स्क्रीन लगाई जा रही हैं. करीब 1500 लोगों के विशेष कार्यक्रम में हिस्सा लेने की संभावना है.
मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए आजाद ने कहा कि जीडीपी गिरावट पर सरकार का कोई ध्यान नही है. सरकार बहरी है, उसे चीख पुकार सुनाई नहीं देती. कांग्रेस के साथ ही कुछ अन्य दलों ने भी इस समारोह में शामिल नहीं होने का फैसला किया है. तृणमूल कांग्रेस ने भी साफ कर दिया है कि पार्टी समारोह में हिस्सा नहीं लेगी.
कांग्रेस के इस कदम से साफ हो गया है कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह भी इस कार्यक्रम में हिस्सा नहीं लेंगे. यह इसलिए अहम है क्योंकि मंच पर पीएम और राष्ट्रपति के अलावा दो पूर्व प्रधानमंत्रियों को भी आमंत्रित किया गया था. इससे पहले तृणमूल कांग्रेस ने भी इस सत्र का बहिष्कार करने की घोषणा की थी. इस संबंध में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पुष्टि भी कर दी थी कि उनकी पार्टी 30 जून की आधी रात को गुड्स एंड सर्विसेज़ टैक्स (जीएसटी) को लॉन्च करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा आयोजित किए जा रहे भव्य कार्यक्रम में शामिल नहीं होगी.
कांग्रेस ने इससे पहले बुधवार को उन्होंने आमंत्रण पत्र को लेकर आपत्ति दर्ज की थी, जिसमें कहा गया है कि देश के इतिहास के सबसे बड़े कर सुधार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लॉन्च करेंगे. देश की प्रमुख विपक्षी पार्टी का कहना है कि यह उद्घाटन राष्ट्रपति को करना चाहिए. कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, "राष्ट्रपति की मौजूदगी में जीएसटी को प्रधानमंत्री कैसे लॉन्च कर सकते हैं...? यह कतई सही नहीं है, अस्वीकार्य है..."
उल्लेखनीय है कि एक जुलाई को पूरे देश में एकीकृत टैक्स के रूप में लागू होने जा रहे वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के मद्देनजर 30 जून की आधी रात को संसद में खास कार्यक्रम का आयोजन होगा. इसके तहत राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और पीएम मोदी ठीक रात के 12 बजे app के जरिये जीएसटी लांच करेंगे. 30 तारीख की रात 11 बजे से 12:10 बजे तक ये कार्यक्रम चलेगा.
मंच पर राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी, उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, पीएम नरेंद्र मोदी, पूर्व प्रधानमंत्री देवगौड़ा के अलावा वित्त मंत्री अरुण जेटली बैठेंगे. अरुण जेटली सबका स्वागत करेंगे फिर पीएम मोदी और उसके बाद राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का भाषण होगा. जीएसटी पर दो डॉक्यूमेंट्री भी दिखाई जाएगी. इस विशेष आयोजन के लिए सेंट्रल हॉल को तैयार किया जा रहा है. वहां बड़ी टीवी स्क्रीन लगाई जा रही हैं. करीब 1500 लोगों के विशेष कार्यक्रम में हिस्सा लेने की संभावना है.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं